मॉड्यूल 13 गतिविधि 1 : प्रभावशाली नेतृत्वकर्ता के गुण

प्रभावशाली नेतृत्वकर्ता बनने के लिए आप में क्या प्रमुख गुण होने चाहिए?

उनमें से कुछ निम्नलिखित हैं- 

  • पहल करना

  • सकारात्मक दृष्टिकोण रखना

  • स्वप्रेरित होना 

  • परिवर्तन लाने के लिए सतत प्रयत्नशील रहना


आपके अनुसार प्रभावशाली नेतृत्वकर्ता में अन्य कौन-कौन से गुण होने चाहिए?

चिंतन के लिए कुछ समय लें और कमेंट बॉक्स में अपनी टिप्पणी दर्ज करें।

 

Comments

  1. A leader should be intelligent,should have relevant knowledge and should have a desire to influence others.
    He / she should provide direction,inspiration and guidance.
    A leader should exhibit courage,passion,confidence,commitment and ambition.

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    1. ...सामाजिक मानवीय व्यावहारिक गुण, स्वयं का व्यावसायिक विकास, आई.सी.टी.में दक्षता आदि।

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    2. सकारात्मक दृष्टिकोण रखना

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  2. सकारात्मक दृष्टिकोण का होना एक कुशल नेतृव कर्ता की पहचान है।

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  3. प्रभावशाली नेतृत्व कर्ता के 16 गुण
    (1)अनुशासन प्रिय होना ---- एक नेतृत्व कर्ता को स्वयं अनुशासित जीवन जीना चाहिए ! और समय पर हर काम को पूरा करना चाहिए ! ऐसा होने पर ही उसके Subordinate और colleague अनुशासित रहेंगे और अपने निर्धारित कार्यों को समय पर पूरा करने का प्रयास करेंगे !


    (2)श्रमशीलता --- जो व्यक्ति श्रम को ही पूजा मानते हैं तथा अपेक्षा से अधिक काम करने की चाहत व क्षमता रखते हैं ,वे ही अपने सहकर्मियों को और अधिक अच्छा करने की प्रेरणा दे सकते हैं !

    (3)उत्तरदायी होना ---व्यक्ति को अपने कार्यों के प्रति जिम्मेदार या उत्तरदायी होने के साथ -साथ अपने अंतर्गत काम करने वालों की गलतियों व असफलताओं के दायित्व को स्वीकार करने का साहस भी होना चाहिए ! ऐसा किये बिना उनके विश्वास को नहीं जीता जा सकता !

    4)वस्तुनिष्ठ व्यवहार ---सफल नेतृत्व कर्ता के व्यवहार में निष्पक्षता एवं सोच में वस्तुनिष्ठता का गुण होना चाहिए ! इसके लिए Personal relationships को professional relationships से बिलकुल अलग रखा जाना चाहिए !

    5)साहस ---नेतृत्वकर्ता को साहस का परिचय देते हुए चुनौतियों को स्वीकार करना चाहिए और अपना पुरुषार्थ करना चाहिए ! जो व्यक्ति आत्मविश्वास से भरपूर और निर्भय नहीं होते हैं ,उनके नेतृत्व को बार-बार चुनोतियाँ मिलती रहती हैं और ऐसे व्यक्ति के नेतृत्व को उसके सहकर्मी लम्बे समय तक स्वीकार नहीं कर पाते !


    (6)स्वनियंत्रण ---नेतृत्व कर्ता को अपनी वाणी एवं व्यवहार ,अपने नियंत्रण में रखना आना चाहिए ! क्योंकि नेतृत्व कर्ता के मर्यादाहीन व्यवहार से उसके नियंत्रण में काम करने वाले लोग भी मनमानी करने लगते हैं !

    (7) सही निर्णय लेने की क्षमता ---जो व्यक्ति अपने निर्णयों को बार-बार बदलता है , उसकी निष्पक्षता और बुद्धिमत्ता संदिग्ध रहती है ! इसीलिए नेतृत्व कर्ता को ठीक से सोच विचार कर दूरदर्शिता के साथ सही निर्णय लेना आना चाहिए !

    8)स्पष्ट योजना ---एक सफल नेतृत्व कर्ता केवल अनुमान के आधार पर कोई कार्य नहीं कर सकता ! उसे कार्य की योजना बनाना और योजनानुसार कार्य करना आना चाहिए !

    9)सहानुभूतिपूर्ण सोच ---एक नेतृत्व कर्ता को सकारात्मक और सहानुभूतिपूर्ण सोच वाला होना चाहिए ! साथ वालों का बुरा न हो और यथा संभव भला हो ,ऐसे व्यवहार से ही दूसरों का दिल जीता जा सकता है !

    (10) शालीन व्यवहार ---कहते हैं ,व्यक्ति वाणी से ही दोस्त और दुश्मन बनाता है ! वाणी में मिठास और व्यवहार में शालीनता व्यक्ति को समूह में स्वीकृति दिलवाती हैं ,जो नेतृत्व की सफलता में महत्वपूर्ण भूमिका निभाती हैं !

    (11) सहकारिता की प्रवृति ---नेतृत्व कर्ता अपने हर काम को सहकार अर्थात एक सबके लिए ,सब एक के लिए की भावना से करता है ! वो अपने समूह की सफलता में ही अपनी सफलता देखता है !


    (12) अहम् से दूरी ---नेतृत्व कर्ता में अपनी कमजोरियों या गुणों के सम्बन्ध में किसी प्रकार की ग्रंथि नहीं होनी चाहिए ! उसे अपने अहम् को दूर रख यथार्थ को स्वीकार करने का साहस दिखाना चाहिए !

    (13) संस्थान के लिए समर्पण भावना ---जो अधिकारी अपने संस्थान के हितों के प्रति समर्पित नहीं होता , उसे अपने अधीनस्थों से भी ऐसी आशा नहीं रखनी चाहिए !

    (14) जानकारी की पूर्णता ---नेतृत्व कर्ता को अपने संस्थान के प्रत्येक कार्य की थोड़ी या अधिक जानकारी अनिवार्य रूप से होनी चाहिए ! इसके अभाव में उसको सहायकों द्वारा मुर्ख बनाये जाने की संभावनाएं बढ़ जाती हैं !

    (15)संपर्कों से सुद्रढ़ता ---नेतृत्व कर्ता का व्यावसायिक और गैर व्यावसायिक क्षेत्रों से भी संपर्क होना चाहिए और उनकी जरुरत के समय यथा संभव सहयोग भी करना चाहिए ! इससे उसे भी अन्य लोगों का सहयोग मिलेगा !

    (16)अनोपचारिक सम्बन्ध ---नेतृत्व कर्ता को अपने सम्बन्ध को प्रगाढ़ करने के लिए अपने साथियों की खुशियों में उत्सव मनाने और विपत्ति के समय सहानुभूति व्यक्त करने से संबंधों में प्रगाढ़ता बढती है !

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  4. सफल नेतृत्व कर्ता वही है जो दूसरों के लिए रोल मॉडल / आदर्श हो
    दूसरो से अपेक्षा करने से पहले स्वतः उस कार्य में परफेक्ट / निपुण होना भी सफल नेतृत्व कर्ता की पहचान है
    भेदभाव रहित एक समान व्यवहार भी प्रभावशाली नेतृत्वकर्ता का एक गुण है

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    1. Safal netratav karta wahi hai Jo dusaro ke liye rol madal / adarsh ho dusaro se apeksha karne sebpahle swata us Kary me parfect/ nipud hona chahiye bhi safal netratav karta ki pahchan hai bhadbhav rahit ek saman vyayvhar bhi prabhavshali netratav ka ek gun hai

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  5. कुशल नेतृत्व. कर्ता में सहनशीलता कार्य कीसमझ त्वरित निर्णय क्षमताके साथ संगठन क्षमता भी होना चाहिए|

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    1. मैं सरिता तिवारी मा.शा.कोठीबाजार होशंगाबाद एक कुशल नेतृत्व कर्ता में सभी की बात धैर्य पूर्वक सुनने एवं उसके बाद उचित निर्णय लेने की क्षमता होना चाहिए अर्थात सबका साथ सबका विकास की भावना होना चाहिए

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  6. प्रीति सोनी , धमना , नरसिंहपुर
    प्रभावशाली नेतृत्वकर्ता के प्रमुख गुणों के अंतर्गत नियमितता , समयबद्धता, अनुशासन प्रिय , संवेदनशीलता ,स्पष्टवादी , सहनशीलता , परिश्रमी, व्यवहारकुशल , आत्मविश्वास एवं प्रसन्नचित्त होना चाहिए

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  7. अपने कार्य के प्रती सजगता ओर हमेशा सकारात्मक रहना।

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  8. प्रीति सोनी , धमना , नरसिंहपुर
    प्रभावशाली नेतृत्वकर्ता के गुणों के अंतर्गत व्यक्ति में नियमितता , समयबद्धता , अनुशासन प्रिय , व्यवहारकुशल, संवेदनशील, आत्मविश्वास, परिश्रमी, और प्रसन्नचित्त होना चाहिए ।

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  9. नमस्कार,
    प्रभावशाली नेतृत्वकर्ता एक कलात्मक व्यक्तित्व है। जो सदैव ही अपने छोटे-बड़े कार्यो/ क्रियाकलापों से दूसरों को प्रेरक और मार्गदर्शक का कार्य करता है।
    हमारे विचार से प्रभावशाली नेतृत्व करता में निम्नलिखित गुणों का होना आवश्यक है-
    (1) समय का पाबंद होना।
    (2) अनुशासन प्रिय होना।
    (3) साहसी होना।
    (4) मृदुभाषी एवं कुशल वक्ता।
    (5) निष्पक्ष व्यवहार।
    (6) कुशल कार्य नियोजक।
    (7) त्वरित और विवेकपूर्ण निर्णय लेने की क्षमता।
    (8) स्व नियंत्रण।
    (9) संस्थागत समर्पण भाव।
    (10) सहज प्रवृत्ति, अहम की भावना से दूर।
    (11) जानकार नवाचारी।
    (12) वैकल्पिक विचारधारा।
    (13) वैज्ञानिक सोच।
    (14) संगठनात्मक पहल।
    (15) सर्वधर्म समभाव।
    (16) सहानुभूति पूर्ण व्यवहार।
    प्रभावशाली नेतृत्वकर्ता के समस्त गुणों से परिपूर्ण व्यक्तित्व का सबसे अच्छा उदाहरण भारतीय तीनों सेनाओं जल,थल और नभसेनाध्यक्ष हैं, जिनके एक इशारे पर छोटा सा प्लाटून भी पल भर में किसी भी स्थान की भौगोलिक स्थिति बदल सकता है। जो राष्ट्रभक्ति के लिए अपने प्राणों का बलिदान देने हमेशा ततपर हो।प्रभावी नेतृत्व के द्वारा बड़े-बड़े असंभव कार्यों को भी हम आसानी से पूरा करने में सफल हो सकते है,चाहे समुद्र पर पुल बाँधना हो या मंगल ग्रह पर अंतरिक्ष यान पहुँचाना हो।
    धन्यवाद्।
    संतोष कुमार अठया
    (सहायक-शिक्षक)
    शासकीय प्राथमिक शाला,एरोरा
    जिला- दमोह,म.प्र.




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  10. राजेंद्र प्रसाद मिश्र सहायक शिक्षक शासकीय उच्चतर माध्यमिक विद्यालय लक्ष्मणपुर रीवा नेतृत्व करता संस्था के प्रति समर्पित हो तथा लोक कल्याण के लिए अपने सहयोगियों को तैयार करें समभाव का भाव रखें

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  11. प्रभावशाली नेतृत्व कर्ता बनने के लिए ईमानदार होना बहुत जरूरी है। ईमानदार होगा तो उससे सभी लोग जुड़ पाएंगे। और उसके नेतृत्व को समझेंगे और उसके लिए वह अपना सब कुछ न्योछावर कर सकते हैं।

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  12. एक सफल नेतृत्व करता के महत्वपूर्ण गुण -
    1-श्रम शीलता
    2-उत्तरदाई होना
    3-अनुशासन प्रिय होना
    4-वस्तुनिष्ठ व्यवहार
    5-साहसी
    6-स्व - नियंत्रण
    7-सही निर्णय की क्षमता
    7-स्पष्ट योजना
    8-सहानुभूति पूर्ण सोच
    9-शालीन व्यवहार
    अहम से दूरी
    10-संस्थान के लिए समर्पण की भावना
    11-जानकारी की पूर्णता
    12-संपर्कों में सुदृढ़ता

    इसके साथ ही साथ एक सफल नेतृत्व कर्ता में अनौपचारिक संबंध -

    नेतृत्व कुशलता एक ऐसी कला है, जिसके माध्यम से बहुत आसानी से बड़े से बड़े असंभव कार्य को भी सरलता के साथ किया जा सकता है।
    बिना मार्गदर्शन के आगे बढ़ने में भटकाव ही होता है और किसी भी तरह की सफलता प्राप्त नहीं की जा सकती है।

    बिना नेतृत्व के इकट्ठा हुई भीड़ से कुछ खास कार्य नहीं कराया जा सकता है। वही सही नेतृत्व करता से नेता की एक छोटी सी टुकड़ी के द्वारा भी युद्ध को जीता जा सकता है। अतः कुशल नेतृत्वकर्ता ही सर्वोपरि गुणों से परिलक्षित होता है।

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  13. प्रभावशाली नेतृत्वकर्ता बनने के लिए आप में क्या प्रमुख गुण होने चाहिए?

    उनमें से कुछ निम्नलिखित हैं-

    पहल करना

    सकारात्मक दृष्टिकोण रखना

    स्वप्रेरित होना

    परिवर्तन लाने के लिए सतत प्रयत्नशील रहना

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  14. सकारात्मक दृष्टिकोण का होना एक कुशल नेतृव कर्ता की पहचान है।

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  15. प्रभावशाली नेतृत्वकर्ता के प्रमुख गुणों के अंतर्गत नियमितता , समयबद्धता, अनुशासन प्रिय , संवेदनशीलता ,स्पष्टवादी , सहनशीलता , परिश्रमी, व्यवहारकुशल , आत्मविश्वास एवं प्रसन्नचित्त होना चाहिए।

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  16. शरद कुमार श्रीवास्तव, शिक्षक,माध्यमिक शाला सुनपुरा,तहसील व जिला विदिशा(मध्य प्रदेश)।
    वर्तमान परिवेश में विद्यालयों के शाला प्रमुख में प्रभावशाली नेतृत्व कर्ता की गुण होना अत्यधिक आवश्यक है, क्योंकि वर्तमान कोविड-19 परिस्थितियों में विद्यालय में विद्यार्थी नहीं आ रहे हैं।ऐसी स्थिति में शिक्षक और विद्यार्थी दोनों असहाय की सी स्थिति में हैं। ऐसे में शाला प्रमुख अपने प्रभावशाली नेतृत्व से विद्यार्थियों के अधिगम की प्रक्रिया को सतत रूप से संचालित रख सकेगा। इस हेतु शाला प्रमुख में निम्नलिखित गुण होना अत्यावश्यक है।
    1.सही समय पर सही निर्णय लेने की क्षमता होना
    2.सहानुभूति पूर्वक सोच रखना
    3. सकारात्मक दृष्टिकोण रखना। अगर साथीअथवा बच्चे कुछ गलत भी करते हैं तो सकारात्मक दृष्टिकोण रखते हुए निर्णय लेना।
    4.व्यवहार शालीन रखना।
    5. स्वयं परिपक्व होना जिससे अपने आचरण से सभी को प्रेरित कर सकें।
    6.अपने कोअहम् को दूर रखना।
    7. बच्चों में अपेक्षित परिवर्तन लाने के लिए सतत प्रयत्नशील रहना जिससे विद्यार्थी और विद्यालय अपेक्षित स्तर प्राप्त कर सकें
    शरद कुमार श्रीवास्तव उच्च,श्रेणी शिक्षक, विदिशा

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  17. Prabhavshali netrutva ke Pramukh Gurn rashtrawadi Imaandaar aur swawlambi sahansheelta haddi ka Guna hona avashyak hai

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  18. Pahal karna and parvaton ke liye satat prayas karna.

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  19. प्रभावशाली नेतृत्व से आशय नेतृत्व कर रहे व्यक्ति के द्वारा लिए गए निर्णयों से शाला में समग्र विकास पर साफ साफ परिलक्षित होता हो ।
    एक प्रभावशाली नेतृत्व में गुण
    सकारात्मक सोच
    लचीलापन
    अनुशासन प्रिय
    कर्तव्य निष्ठ
    अंहकार से रहित
    सरल
    नवाचार के प्रति सहज

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  20. कर्तव्य के प्रति समर्पण की भावना का होना अनिवार्य है।सकारत्मक और विकासशील सोच होनी चाहिये।

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  21. प्रभावशाली नेतृत्वकर्ता के प्रमुख गुणों के अंतर्गत नियमितता , समयबद्धता, अनुशासन प्रिय , संवेदनशीलता ,स्पष्टवादी , सहनशीलता , परिश्रमी, व्यवहारकुशल , आत्मविश्वास एवं प्रसन्नचित्त होना चाहिए।

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  22. शाला प्रमुख होने के नाते सवसे
    प्रमुख बात यह होनी चाहिए कि वह एक प्रशासक होते हुए छात्रों
    शिक्षकों और जन समुदाय के बीच सामन्जस्य स्थापित करते
    हुए, शाला के शैक्षिक वातावरण
    को बढाने का सतत प्रयास करते हुए, नवाचार पूर्ण अधिगम स्थापित करेl

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  23. कुशल नेतृत्व. कर्ता में सहनशीलता कार्य कीसमझ त्वरित निर्णय क्षमताके साथ संगठन क्षमता भी होना चाहिए|

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  24. प्रभावशाली नेतृत्व कर्ता में ईमानदारी, समयबद्ध, मिलनसार, मेहनती, स्नेह पूर्वक व्यवहारिक ज्ञान, कुशलता से कार्य करने के गुण समाहित होना चाहिए।

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  25. राजेन्द्र श्रीवास्तव यू दी टी शा हाई स्कूल कृ 2 डबरा बिषम परिस्थियों में संयम रखना सहानुभूति व्यवहार अनुशासनप्रिय होना समय का विशेष ध्यान रखना आदि

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  26. एक प्रभावशाली नेतृत्वकर्ता के रूप में प्रथम आवश्यक गुण प्रशासनिक क्षमता का होना आवश्यक है अपने अधीनस्थ या अपनी टीम से विपरित परिस्थितियों में भी 100% कार्य करवा लेने की क्षमता का होना आवश्यक है नेतृत्वकर्ता के अपने साथियों से संबंध इस तरह होने चाहिए की कार्य बिना कहे पूर्ण हो जाय

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  27. प्रशासनिक क्षमता
    सबको साथ लेकर चलने की क्षमता
    अहंकार से मुक्त
    छात्र एवं संस्था के प्रति समर्पित
    मिलनसार,मृदुभाषी,लचीलापन

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  28. एक सफल नेतृत्व करता में निम्नलिखित महत्वपूर्ण गुण होने चाहिए जिससे वह किसी भी परिस्थितियों में दृढ़ता से सामना कर सकने में सक्षम हो सके -
    1-श्रम शीलता
    2-उत्तरदाई होना
    3-अनुशासन प्रिय होना
    4-वस्तुनिष्ठ व्यवहार
    5-साहसी
    6-स्व - नियंत्रण
    7-सही निर्णय की क्षमता
    7-स्पष्ट योजना
    8-सहानुभूति पूर्ण सोच
    9-शालीन व्यवहार
    अहम से दूरी
    10-संस्थान के लिए समर्पण की भावना
    11-जानकारी की पूर्णता
    12-संपर्कों में सुदृढ़ता
    13-अपने विषय में निपुण होना चाहिए|
    14.जिज्ञासु

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  29. हमारे विचार से प्रभावशाली नेतृत्व करता में निम्नलिखित गुणों का होना आवश्यक है-
    (1) समय का पाबंद होना।
    (2) अनुशासन प्रिय होना।
    (3) साहसी होना।
    (4) मृदुभाषी एवं कुशल वक्ता।
    (5) निष्पक्ष व्यवहार।
    (6) कुशल कार्य नियोजक।
    (7) त्वरित और विवेकपूर्ण निर्णय लेने की क्षमता।
    (8) स्व नियंत्रण।
    (9) संस्थागत समर्पण भाव।
    (10) सहज प्रवृत्ति, अहम की भावना से दूर।
    (11) जानकार नवाचारी।
    (12) वैकल्पिक विचारधारा।
    (13) वैज्ञानिक सोच।
    (14) संगठनात्मक पहल।
    (15) सर्वधर्म समभाव।
    (16) सहानुभूति पूर्ण व्यवहार।

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  30. प्रभावशाली नेतृत्वकर्ता के प्रमुख गुणों के अंतर्गत
    1. नियमितता :-वह नियमित रूप से अपने कार्य क्षेत्र में सक्रिय भूमिका निभा रहा हो ।
    ‌ 2. समयबद्धता:-
    समय पर अपने कार्य को पूरा करने की क्षमता रखता हो।
    3 अनुशासन प्रिय :-
    अनुशासन में रहकर कार्य करें । ,
    4. संवेदनशीलता :-
    5 स्पष्टवादी
    6. सहनशीलता:-
    7. परिश्रमी
    8. व्यवहारकुशल :-
    9. आत्मविश्वास:-
    १०. प्रसन्नचित्त:-
    11. मिलनसार स्वभाव
    आदि

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  31. सकारात्मक दृष्टिकोण का होना अनिवार्य है
    नवीन मिश्रा जनशिक्षक जन शिक्षा केंद्र बिनैका विकासखंड मंडला जिला मंडला

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  32. वर्तमान कोविड-19 परिस्थितियों में विद्यालय में विद्यार्थी नहीं आ रहे हैं।
    सरकार भी कोई खतरा नहीँ उठाना चाहती है । ऐसी स्थिति में शिक्षक और विद्यार्थी दोनों के लियेअसमंजस की सी स्थिति हैं। हमें अपने प्रभावशाली नेतृत्व से विद्यार्थियों के अधिगम की प्रक्रिया को सतत रूप से संचालित रखने के लिए । इस हेतु नेतृत्व करने वाले में आवश्यक गुण होना चाहिए ।
    **.सही समय पर सही निर्णय लेने की क्षमता होना
    **समय प्रबन्धन करने में माहिर हो ।
    **सहानुभूति पूर्वक सोच रखना
    **सकारात्मक दृष्टिकोण रखना।
    **व्यवहार शालीन रखना।
    **स्वयं परिपक्व होना जिससे अपने आचरण से सभी को प्रेरित कर सकें।**.अपने कोअहम् को दूर रखना।
    ** अपने आप और परिवेश में अपेक्षित परिवर्तन लाने के लिए सतत प्रयत्नशील रहना ।

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  33. GMS Ambedkar Kripalpur Satna
    एक शिक्षक /शाला प्रमुख की हैशियत से किसी भी व्यक्ति में निम्न गुणो का होना अतिआवश्यक है।
    1स्वप्रेरणा
    2सहन शक्ति
    3 नेतृत्व की क्षमता
    4सम्प्रेषण
    5कल्पनाशील होना
    6सकारात्मक दृष्टिकोण
    7आर्थिक एवं प्रशासनिक संक्रियाओं की समझ
    8सहकार किभावना
    9 समदृष्टि
    10 सामुदायिक,व छात्रों में पकड़ के साथ प्रशासकीय कार्यो का संपादन

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  34. Self depend ,bold, good behaviour,active person, helpful person,role model, active among smc committee,etc

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  35. Sakaaratmak drastikod ka hona ek kusal netratv karta ki pachan hai .

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  36. नेतृत्वकर्ता को संघर्ष व सहनशील होना चाहिए।उसमें समन्वय का गुण होना चाहिए।योजना बनाकर कार्य करने की क्षमता का विकास होना चाहिए।

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  37. प्रभावशाली नेतृत्व कर्ता के रूप में निम्नलिखित गुण होने चाहिए।
    1. सृजनात्मकता
    2. धर्मनिरपेक्षता
    3. सहयोगी
    4. दूरदर्शी
    5. सामाजिक
    6. गंभीर
    7. सहनशीलता
    8. कार्यकुशलता
    9. विश्वासपात्र

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  38. नेतृत्व करना एक ख़ास कला है ,जो सामान्य व्यक्तित्व के अन्दर नहीं होती ! श्रेष्ठतम लीडर वही बन पाता है ,जो लोगों के दिलों पर राज करता है ! और जिसकी personality को हर कोई स्वीकारता है ! ऐसे व्यक्ति के साथ काम करने वाले लोग अपना सब कुछ उस पर निछावर करने के लिए तत्पर होते हैं !
    प्रभावशाली नेतृत्वकर्ता के प्रमुख 16 गुण-

    अनुशासन प्रिय होना ---- एक नेतृत्व कर्ता को स्वयं अनुशासित जीवन जीना चाहिए ! और समय पर हर काम को पूरा करना चाहिए ! ऐसा होने पर ही उसके Subordinate और colleague अनुशासित रहेंगे और अपने निर्धारित कार्यों को समय पर पूरा करने का प्रयास करेंगे !


    श्रमशीलता --- जो व्यक्ति श्रम को ही पूजा मानते हैं तथा अपेक्षा से अधिक काम करने की चाहत व क्षमता रखते हैं ,वे ही अपने सहकर्मियों को और अधिक अच्छा करने की प्रेरणा दे सकते हैं !

    उत्तरदायी होना ---व्यक्ति को अपने कार्यों के प्रति जिम्मेदार या उत्तरदायी होने के साथ -साथ अपने अंतर्गत काम करने वालों की गलतियों व असफलताओं के दायित्व को स्वीकार करने का साहस भी होना चाहिए ! ऐसा किये बिना उनके विश्वास को नहीं जीता जा सकता !

    वस्तुनिष्ठ व्यवहार ---सफल नेतृत्व कर्ता के व्यवहार में निष्पक्षता एवं सोच में वस्तुनिष्ठता का गुण होना चाहिए ! इसके लिए Personal relationships को professional relationships से बिलकुल अलग रखा जाना चाहिए !

    साहस ---नेतृत्वकर्ता को साहस का परिचय देते हुए चुनौतियों को स्वीकार करना चाहिए और अपना पुरुषार्थ करना चाहिए ! जो व्यक्ति आत्मविश्वास से भरपूर और निर्भय नहीं होते हैं ,उनके नेतृत्व को बार-बार चुनोतियाँ मिलती रहती हैं और ऐसे व्यक्ति के नेतृत्व को उसके सहकर्मी लम्बे समय तक स्वीकार नहीं कर पाते !


    स्वनियंत्रण ---नेतृत्व कर्ता को अपनी वाणी एवं व्यवहार ,अपने नियंत्रण में रखना आना चाहिए ! क्योंकि नेतृत्व कर्ता के मर्यादाहीन व्यवहार से उसके नियंत्रण में काम करने वाले लोग भी मनमानी करने लगते हैं !

    सही निर्णय लेने की क्षमता ---जो व्यक्ति अपने निर्णयों को बार-बार बदलता है , उसकी निष्पक्षता और बुद्धिमत्ता संदिग्ध रहती है ! इसीलिए नेतृत्व कर्ता को ठीक से सोच विचार कर दूरदर्शिता के साथ सही निर्णय लेना आना चाहिए !

    स्पष्ट योजना ---एक सफल नेतृत्व कर्ता केवल अनुमान के आधार पर कोई कार्य नहीं कर सकता ! उसे कार्य की योजना बनाना और योजनानुसार कार्य करना आना चाहिए !

    सहानुभूतिपूर्ण सोच ---एक नेतृत्व कर्ता को सकारात्मक और सहानुभूतिपूर्ण सोच वाला होना चाहिए ! साथ वालों का बुरा न हो और यथा संभव भला हो ,ऐसे व्यवहार से ही दूसरों का दिल जीता जा सकता है !

    शालीन व्यवहार ---कहते हैं ,व्यक्ति वाणी से ही दोस्त और दुश्मन बनाता है ! वाणी में मिठास और व्यवहार में शालीनता व्यक्ति को समूह में स्वीकृति दिलवाती हैं ,जो नेतृत्व की सफलता में महत्वपूर्ण भूमिका निभाती हैं !

    सहकारिता की प्रवृति ---नेतृत्व कर्ता अपने हर काम को सहकार अर्थात एक सबके लिए ,सब एक के लिए की भावना से करता है ! वो अपने समूह की सफलता में ही अपनी सफलता देखता है !


    अहम् से दूरी ---नेतृत्व कर्ता में अपनी कमजोरियों या गुणों के सम्बन्ध में किसी प्रकार की ग्रंथि नहीं होनी चाहिए ! उसे अपने अहम् को दूर रख यथार्थ को स्वीकार करने का साहस दिखाना चाहिए !

    संस्थान के लिए समर्पण भावना ---जो अधिकारी अपने संस्थान के हितों के प्रति समर्पित नहीं होता , उसे अपने अधीनस्थों से भी ऐसी आशा नहीं रखनी चाहिए !

    जानकारी की पूर्णता ---नेतृत्व कर्ता को अपने संस्थान के प्रत्येक कार्य की थोड़ी या अधिक जानकारी अनिवार्य रूप से होनी चाहिए ! इसके अभाव में उसको सहायकों द्वारा मुर्ख बनाये जाने की संभावनाएं बढ़ जाती हैं !

    संपर्कों से सुद्रढ़ता ---नेतृत्व कर्ता का व्यावसायिक और गैर व्यावसायिक क्षेत्रों से भी संपर्क होना चाहिए और उनकी जरुरत के समय यथा संभव सहयोग भी करना चाहिए ! इससे उसे भी अन्य लोगों का सहयोग मिलेगा !

    अनोपचारिक सम्बन्ध ---नेतृत्व कर्ता को अपने सम्बन्ध को प्रगाढ़ करने के लिए अपने साथियों की खुशियों में उत्सव मनाने और विपत्ति के समय सहानुभूति व्यक्त करने से संबंधों में प्रगाढ़ता बढती है।

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  39. प्रभावशाली नेतृत्वकर्ता के प्रमुख गुणों के अंतर्गत नियमितता , समयबद्धता, अनुशासन प्रिय , संवेदनशीलता ,स्पष्टवादी , सहनशीलता , परिश्रमी, व्यवहारकुशल , आत्मविश्वास एवं प्रसन्नचित्त होना चाहिए |
    क्रमानुसार :-
    1- पहलकर्ता होना |
    2- स्‍वप्रेरित होना |
    3- अभिप्रेतरितकर्ता |
    4- आत्‍मविश्‍वासी होना |
    5- सहानुभूतिपूर्ण व्‍यवहार होना |
    6- समय का पाबंद होना |
    7- समर्पण की भावना |
    8- दूरदर्शी होना |
    9- कर्त्‍तव्‍यपरायण होना |
    10- बच्‍चों के अधिगम के लिए नवाचार करने की सोच का होना |
    11- आदर्श व्‍यक्तित्‍व का होना |
    12- सकारात्‍मक दृष्टिकोण का होना
    आदि।

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  40. नमस्कार मैं सुंदर सूर्यवंशी माध्यमिक शिक्षक शासकीय माध्यमिक शाला चिकली मोकासा विकासखंड अमरवाड़ा।
    एक कुशल नेतृत्व कर्ता में समय की पाबंदी सभी को साथ लेकर चलना सर्वांगीण विकास उपलब्ध संसाधनों का समायोजन, प्रत्येक बच्चे तक संपूर्ण शिक्षा का पहुंचाना, सभी के साथ समान व्यवहार पाठशाला के साथ-साथ सामाजिक संबंध एवं सकारात्मक दृष्टिकोण, कार्यों में निपुणता चाहे वह प्रशासनिक हो या पाठ्यक्रम पाठ्यचर्या से संबंधित हो।

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  41. कौशल,प्रेरणादायक प्रदर्शन,साहस,सहकारिता, उत्तरदायित्व, क्षमाशीलता आदि।

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  42. एक कुशल नेतृत्वकर्ता के लिए समय का पाबंद होना,ईमानदार होना,मिलनसारिता का गुण होना अति आवश्यक होता है।

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  43. समान व्यवहार एवं त्वरित निराकर ण

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  44. देवेश सिंह भदौरिया
    जनशिक्षाकेन्द्र मसूरी
    नमस्कार साथियों
    नेतृत्वकर्ता के गुणों के बारे कई साथियों ने अपने अपने विचार व्यक्त किए हैं, मेरा भी यही मानना है कि नेतृत्वकर्ता को अपने सहयोगियों का साथ इस तरह लेना चाहिए। जिसमें उन सभी को लगे कि हम सभी नेतृत्व कर रहे हैं। नेतृत्वकर्ता सामूहिक निर्णय की अवधारणा बढ़ाते हुए भी यह ध्यान रखें कि उसका मूल नेतृत्व उसी के हाथ में रहे।
    सभी अभिभावक एवं छात्रों की पूर्ण भागीदारी बनाए रखें।
    सभी को अपनी बात रखने का समान अवसर दें, गलत बात को भी विनम्रता से सुनें, उचित ढंग से प्रतिउत्तर रखें।

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  45. एक शिक्षक /शाला प्रमुख की हैशियत से किसी भी व्यक्ति में निम्न गुणो का होना अतिआवश्यक है।
    1स्वप्रेरणा
    2सहन शक्ति
    3 नेतृत्व की क्षमता
    4सम्प्रेषण
    5कल्पनाशील होना
    6सकारात्मक दृष्टिकोण
    7आर्थिक एवं प्रशासनिक संक्रियाओं की समझ
    8सहकार किभावना
    9 समदृष्टि
    10 सामुदायिक,व छात्रों में पकड़ के साथ प्रशासकीय कार्यो का संपादन

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  46. अशोक नारायण शुक्ला
    शा प्रा शा रहटा कलाँ
    विकास खंड-खिरकिया(हरदा)

    एक प्रभावशाली व कुशल नेतृत्व कर्ता में इन गुणों का होना जरूरी है। जैसे:-
    1.समय की पावंदी
    2.अनुशासन प्रिय
    3.व्यवहार कुशल
    4.साहसी व मृदुभाषी
    5.उत्तरदायी
    6.कुशल कार्य नियोजक
    7.विवेक पूर्ण निर्णय क्षमता
    8.संस्थागत समर्पण भाव
    9.सहानुभूति पूर्ण सोच
    10.नवाचारी व वैज्ञानिक सोच
    आदि।

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  47. पहल करना सकारात्मक दृष्टिकोण स्व प्रेरित होना ,परिवर्तन लाने के लिए सतत प्रयत्नशील रहना , ये सभी महत्वपूर्ण गुण है ।यदि गुण करे तो यही पर्याप्त हैं ।इसमें अंतिम बिंदु परिवर्तन लाने के लिए सतत प्रयत्नशील रहना एक ऐसा गुण है जो हमेशा आगे बढ़ाएगा ।इसमें हम आईसीटी का उपयोग करके यथा जूम वेबीनार एप्स आदि का प्रयोग करके अपरिमित लाभ उठा सकते हैं। इसके अलावा श्रम शीलता ,उत्तरदायी होना ,शालीन व्यवहार होना, घमंड से दूर रहना भी जरूरी है ।इन सब कार्यों के संचालन में अनौपचारिक संबंध भी महत्वपूर्ण होंगे।

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  48. Netratvakarta ko paristhitityon ke anurup nirnay lene wala hona chahiye.

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  49. प्रभावशाली नेत्रत्वकर्ता मे इन गुणों का होना जरूरी है।
    कर्तव्यनिष्ठ,चरित्रवान, दूरदर्शिता,सजगता, समर्पण, परख,समयानुकूल,परिश्रमी आद

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  50. शिक्षक का सबसे प्रमुख उद्देश्य सकारात्मक विचार होना अगर हमारा सकारात्मक विचार रहेगा तो हम पूरे मनोयोग से कार्य कर सकते हैं और कार्य में सफलता भी प्राप्त कर सकते हैं

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  51. किशोर चैतन्य प्रा.शाला हीरापुर ,हरदा
    शाला प्रमुख को प्रभावशाली नेतृत्वकर्ता बनने के लिए निम्न गुण होना चाहिए
    *स्वप्रेरित होना
    * सकारात्मक दृष्टिकोण होना
    * पहलकर्ता होना
    * परिवर्तन लाने में सतत प्रयत्नशील होना
    * अभिप्रेरितकर्ता होना
    *मिलनसार होना
    *सभी के साथ मित्रव्यत व्यवहार होना
    *आत्मविश्वासी होना
    *साहसपूर्ण निर्णय लेने की क्षमता होना
    *नवाचारी होना

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  52. 5कल्पनाशील
    4.साहसी , धैर्यवान

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  53. सकारात्मकता और सवार्गीण विकास

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  54. प्रभावशाली नेतृत्व करता में निम्नलिखित गुणों का होना आवश्यक है-
    (1) समय का पाबंद होना।
    (2) अनुशासन प्रिय होना।
    (3) साहसी होना।
    (4) मृदुभाषी एवं कुशल वक्ता।
    (5) निष्पक्ष व्यवहार।
    (6) कुशल कार्य नियोजक।
    (7) त्वरित और विवेकपूर्ण निर्णय लेने की क्षमता।
    (8) स्व नियंत्रण।
    (9) संस्थागत समर्पण भाव।
    (10) सहज प्रवृत्ति, अहम की भावना से दूर।
    (11) नवाचारी।
    (12) वैकल्पिक विचारधारा।
    (13) वैज्ञानिक सोच।
    (14) संगठनात्मक पहल।
    (15) सर्वधर्म समभाव।
    (16) सहानुभूति पूर्ण व्यवहार।
    (17) ईमानदारी
    (18)पहलकर्ता
    (19) उदारवादी
    (20) मित्र वत् व्यवहार

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  55. प्रभावशाली नेतृत्व कर्ता के प्रमुख गुणों के अंतर्गत नियमितता , समयबद्धता, अनुशासन प्रिय, संवेदनशीलता, स्पष्ट वादी, सहनशीलता, परिश्रमी, व्यवहार कुशलता, आत्मविश्वास एवं प्रसन्न प्रसन्न चित्त होना चाहिए।

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  56. एक सफल नेतृत्व कर्ता मे वह सभी गुण होने चाहिए जो अपने काम को सफलता पूर्वक पूर्ण कर सके वह कठिन परिस्थितियों में उपलब्ध संसाधन का उपयोग करके परिस्थितियों के अनुरूप एक योजना बद्ध तरीके से अपने कार्य को करने में सक्षम हो

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  57. एक प्रभावशाली नेतृत्व कर्ता बनने के लिए सकारात्मक द्रष्टिकोण, मृदुभाषी, मिलनसार आदि गुणों का होना अति आवश्यक है

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  58. प्रभावशाली नेतृत्वकर्ता के प्रमुख गुणों के अंतर्गत नियमितता , समयबद्धता, अनुशासन प्रिय , संवेदनशीलता ,स्पष्टवादी , सहनशीलता , परिश्रमी, व्यवहारकुशल , आत्मविश्वास एवं प्रसन्नचित्त होना चाहिए

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  59. एक कुशल नेत्रतत्वकर्ता मे मानवीय, सामाजिक, व्यवहारिक गुण होने चाहिए इसके साथ उसे पहलकर्ता भी होना चाहिए

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  60. सफल नेतृत्व कर्ता वही है जो दूसरों के लिए रोल मॉडल / आदर्श हो
    दूसरो से अपेक्षा करने से पहले स्वतः उस कार्य में परफेक्ट / निपुण होना भी सफल नेतृत्व कर्ता की पहचान है
    भेदभाव रहित एक समान व्यवहार भी प्रभावशाली नेतृत्वकर्ता का एक गुण है

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  61. में योगेन्द्र सिंह रघुवंशी श मा शाला बेरुआ सिलवानी जिला रायसेन एमपी मेरे विचार सेएक कुशल नेत्रतत्वकर्ता मे मानवीय, सामाजिक, व्यवहारिक होना चाहिए
    (1) समय का पाबंद होना।
    (2) अनुशासन प्रिय होना।
    (3) साहसी होना।
    (4) मृदुभाषी एवं कुशल वक्ता।
    (5) निष्पक्ष व्यवहार।
    (6) कुशल कार्य नियोजक।
    (7) त्वरित और विवेकपूर्ण निर्णय लेने की क्षमता।
    (8) स्व नियंत्रण।
    (9) संस्थागत समर्पण भाव।
    (10) सहज प्रवृत्ति, अहम की भावना से दूर।
    (11) नवाचारी।
    (12) वैकल्पिक विचारधारा।
    (13) वैज्ञानिक सोच।
    (14) संगठनात्मक पहल।
    (15) सर्वधर्म समभाव।
    (16) सहानुभूति पूर्ण व्यवहार।
    (17) ईमानदारी
    (18)पहलकर्ता
    (19) उदारवादी
    (20) मित्र वत् व्यवहार
    इन का होना आवश्यक है

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  62. मुझे खान माध्यमिक शिक्षक शासकीय माध्यमिक विद्यालय बांस खेड़ी कुशल नेतृत्व के लिए सबके स्वभाव को समझना साथियों के कार्यों को सराहना एवं छात्रों के ध्यान के साथ-साथ अभिभावकों से सतत संपर्क प्रशासनिक अमले से संपर्क एवं विद्यालय में आई चुनौतियों को सब से मिलकर समाधान खोजने की क्षमता साथ ही शिक्षकों के द्वारा किए गए कार्य की सराहना एवं मृदुभाषी एवं सहनशीलता का गुण होना जरूरी है और गलतियों पर क्षमाशील होना

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  63. प्रभावशाली नेतृत्व करता में निम्नलिखित गुणों का होना आवश्यक है-
    (1) समय का पाबंद होना।
    (2) अनुशासन प्रिय होना।
    (3) मृदुभाषी एवं कुशल वक्ता।
    (4) निष्पक्ष व्यवहार।
    (5) विवेकपूर्ण निर्णय लेने की क्षमता।
    (6) स्व नियंत्रण।
    (7) सहज प्रवृत्ति, ।
    (8) नवाचारी।
    (9) वैज्ञानिक सोच।
    (10) संगठनात्मक सोच।
    (11) सहानुभूति पूर्ण व्यवहार।
    (12) मित्रतापूर्ण व्यवहार

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  64. नेतृत्वकर्ता , संस्था के प्रति समर्पित, समय का पाबन्द होना, अनुशासन प्रिय होना, मृदुभाषी तथा निष्पक्ष व्यवहार व सर्वधर्म समभाव, सहानुभूति पूर्ण व्यवहार करना|

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  65. Saroj prajapati
    Ms ghatmpur
    Sagar mp
    (1) समय का पाबंद होना।
    (2) अनुशासन प्रिय होना।
    (3) साहसी होना।
    (4) मृदुभाषी एवं कुशल वक्ता।
    (5) निष्पक्ष व्यवहार।
    (6) कुशल कार्य नियोजक।
    (7) त्वरित और विवेकपूर्ण निर्णय लेने की क्षमता।
    (8) स्व नियंत्रण।
    (9) संस्थागत समर्पण भाव।
    (10) सहज प्रवृत्ति, अहम की भावना से दूर।
    (11) जानकार नवाचारी।
    (12) वैकल्पिक विचारधारा।
    (13) वैज्ञानिक सोच।
    (14) संगठनात्मक पहल।
    (15) सर्वधर्म समभाव।
    (16) सहानुभूति पूर्ण व्यवहार

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  66. कुशल नेतृत्वकर्ता में निम्न गुणों का होना भी बहुत आवश्यक है :-
    १.अनुशासन प्रिए
    २.समय का पाबंद
    ३.अच्छा वक्ता
    ४.अच्छा श्रोता
    ५.अपनी बात कों कहने में सक्षम
    ६.कुशल व्यक्तित्व का धनी
    ८.सभी विषयों का अच्छा ज्ञान
    ९. समाज के सभी वर्गों के लिए सम्मान की भावना
    १०.जातिवाद,क्षेत्रवाद,लिंगवाद आदि सकुचित दृष्टिकोण के प्रति निष्पक्षता की भावना

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  67. नेतृत्व के लिए व्यक्ति का स्वयं आशावादी , अनुशासन में रहना, ईमानदारी और कड़ी मेहनत बहुत आवश्यक है

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  68. कुशल नेतृत्व के लिये बहुमुखी प्रतिभा , अनुशासन , संस्कार व संस्कृति का ज्ञान, चिंतनशील , सहनशील , कुशल वक्ता , तथा सबसे महत्व पूर्ण है उसका ज्ञान वान होना ।

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  69. This comment has been removed by the author.

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  70. प्रवीण कुमार जैन माध्यमिक शिक्षक शासकीय कन्या उच्चतर माध्यमिक शाला मुलताई जिला बैतूल
    नेतृत्व करने की क्षमता सामान्य व्यक्तित्व के अन्दर नहीं होती ! अच्छा नेतृत्व वही कर पाता है लीडर वही बन पाता है जिस के महत्व को हर कोई स्वीकारता है ! ऐसे व्यक्ति के साथ काम करने वाले लोग टीम की तरह कार्य करते हैं।
    प्रभावशाली नेतृत्वकर्ता के प्रमुख कुछ गुण-

    1अनुशासन प्रिय होना ---- एक नेतृत्व कर्ता को स्वयं अनुशासित रहते हुए अपने साथी सहयोगी को अनुशासित रहने के लिए प्रेरित करना चाहिए जिससे उसके काम समय पर होगे और सहयोगी अनुशासित रहेंगे और अपने निर्धारित कार्यों को समय पर पूरा करने का प्रयास करेंगे !


    श्रमशीलता --- जो व्यक्ति श्रम को ही पूजा मानते हैं तथा अपेक्षा से अधिक काम करने की चाहत व क्षमता रखते हैं ,वे ही अपने सहकर्मियों को और अधिक अच्छा करने की प्रेरणा दे सकते हैं !

    उत्तरदायी होना ---व्यक्ति को अपने कार्यों के प्रति जिम्मेदार या उत्तरदायी होने के साथ -साथ अपने अंतर्गत काम करने वालों की गलतियों व असफलताओं के दायित्व को स्वीकार करने का साहस भी होना चाहिए ! ऐसा किये बिना उनके विश्वास को नहीं जीता जा सकता !

    वस्तुनिष्ठ व्यवहार ---सफल नेतृत्व कर्ता के व्यवहार में निष्पक्षता एवं सोच में वस्तुनिष्ठता का गुण होना चाहिए ! इसके लिए Personal relationships को professional relationships से बिलकुल अलग रखा जाना चाहिए !

    साहस ---नेतृत्वकर्ता को साहस का परिचय देते हुए चुनौतियों को स्वीकार करना चाहिए और अपना पुरुषार्थ करना चाहिए ! जो व्यक्ति आत्मविश्वास से भरपूर और निर्भय नहीं होते हैं ,उनके नेतृत्व को बार-बार चुनोतियाँ मिलती रहती हैं और ऐसे व्यक्ति के नेतृत्व को उसके सहकर्मी लम्बे समय तक स्वीकार नहीं कर पाते !


    स्वनियंत्रण ---नेतृत्व कर्ता को अपनी वाणी एवं व्यवहार ,अपने नियंत्रण में रखना आना चाहिए ! क्योंकि नेतृत्व कर्ता के मर्यादाहीन व्यवहार से उसके नियंत्रण में काम करने वाले लोग भी मनमानी करने लगते हैं !

    सही निर्णय लेने की क्षमता ---जो व्यक्ति अपने निर्णयों को बार-बार बदलता है , उसकी निष्पक्षता और बुद्धिमत्ता संदिग्ध रहती है ! इसीलिए नेतृत्व कर्ता को ठीक से सोच विचार कर दूरदर्शिता के साथ सही निर्णय लेना आना चाहिए !

    स्पष्ट योजना ---एक सफल नेतृत्व कर्ता केवल अनुमान के आधार पर कोई कार्य नहीं कर सकता ! उसे कार्य की योजना बनाना और योजनानुसार कार्य करना आना चाहिए !

    सहानुभूतिपूर्ण सोच ---एक नेतृत्व कर्ता को सकारात्मक और सहानुभूतिपूर्ण सोच वाला होना चाहिए ! साथ वालों का बुरा न हो और यथा संभव भला हो ,ऐसे व्यवहार से ही दूसरों का दिल जीता जा सकता है !

    शालीन व्यवहार ---कहते हैं ,व्यक्ति वाणी से ही दोस्त और दुश्मन बनाता है ! वाणी में मिठास और व्यवहार में शालीनता व्यक्ति को समूह में स्वीकृति दिलवाती हैं ,जो नेतृत्व की सफलता में महत्वपूर्ण भूमिका निभाती हैं !

    सहकारिता की प्रवृति ---नेतृत्व कर्ता अपने हर काम को सहकार अर्थात एक सबके लिए ,सब एक के लिए की भावना से करता है ! वो अपने समूह की सफलता में ही अपनी सफलता देखता है !


    अहम् से दूरी ---नेतृत्व कर्ता में अपनी कमजोरियों या गुणों के सम्बन्ध में किसी प्रकार की ग्रंथि नहीं होनी चाहिए ! उसे अपने अहम् को दूर रख यथार्थ को स्वीकार करने का साहस दिखाना चाहिए !

    संस्थान के लिए समर्पण भावना ---जो अधिकारी अपने संस्थान के हितों के प्रति समर्पित नहीं होता , उसे अपने अधीनस्थों से भी ऐसी आशा नहीं रखनी चाहिए !

    जानकारी की पूर्णता ---नेतृत्व कर्ता को अपने संस्थान के प्रत्येक कार्य की थोड़ी या अधिक जानकारी अनिवार्य रूप से होनी चाहिए ! इसके अभाव में उसको सहायकों द्वारा मुर्ख बनाये जाने की संभावनाएं बढ़ जाती हैं !

    संपर्कों से सुद्रढ़ता ---नेतृत्व कर्ता का व्यावसायिक और गैर व्यावसायिक क्षेत्रों से भी संपर्क होना चाहिए और उनकी जरुरत के समय यथा संभव सहयोग भी करना चाहिए ! इससे उसे भी अन्य लोगों का सहयोग मिलेगा !

    अनोपचारिक सम्बन्ध ---नेतृत्व कर्ता को अपने सम्बन्ध को प्रगाढ़ करने के लिए अपने साथियों की खुशियों में उत्सव मनाने और विपत्ति के समय सहानुभूति व्यक्त करने से संबंधों में प्रगाढ़ता बढती है।

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  71. नेतृत्वकर्ता के अन्दर सहज,सहनशील लचीला,संचारसाधनो का जानकार,सभी को साथ लेकर चलने वाला होना चाहिए

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  72. एक प्रभावशाली नेतृत्व कर्ता बनने के लिए अपने आप में निम्नलिखित गुण होना चाहिए! (1) अनुशासन का पालन करना (2) मेहनती होना (3) उत्तरदाई होना (4) निष्पक्ष होना (5) जोखिम उठाना(6) स्व नियंत्रण होना (7) निर्णय लेने की क्षमता (8) स्पष्ट वादी हो ना (9) समान व्यवहार करना (10) आदर्शवादीता के गुण होना (11) सहयोगी प्रवृत्ति (12) अपनी कमजोरी दूर करना (13) त्याग की भावना (14) पूर्ण जानकारी रखना (15) जीवंतसंपर्क होना (16) अनौपचारिक संबंध रखना !

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  73. हिमांशु पटेल जनशिक्षक औरई,बिछिया जिला -मण्डला
    प्रभावशाली नेतृत्वकर्ता के प्रमुख गुणों के अंतर्गत नियमितता ,1 - समयबद्धता, 2 -अनुशासन प्रिय , 3 -संवेदनशीलता ,4 -स्पष्टवादी ,5 - सहनशीलता , परिश्रमी, व्यवहारकुशल , 6 -आत्मविश्वास एवं प्रसन्नचित्त होना चाहिए 7 - बच्‍चों के अधिगम के लिए नवाचार करने की सोच का होना |
    8 - आदर्श व्‍यक्तित्‍व का होना |
    9 - सकारात्‍मक दृष्टिकोण का होना,10 - सहानुभूतिपूर्ण व्‍यवहार होना |

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  74. एक अच्छे प्रभारी होने के लिए स्वयं के अनुशासनह मे रहकर सभी मातहतों के कौशल का उपयोग कर एक समाजिक ,आर्थिक समन्वय कर कुलश नेतृत्व करने मे सक्षम होना चाहिए। ओर सभी कार्यों का ईमानदारी से करे ओर शिक्षक साथियों व विद्यार्थियों से भी करवाया जाऐ।

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  75. Anushasan Priya anushasan Priya s shalinta sahanshilta saman vyavhar sampreshan shilta arvind Kumar Yadav vs Katori JSK madhi lakhnadon

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  76. Prashasan ki jimmedari aur netrutva ki jimmedari purn sahansheelta aur karmath Puja Roop se pratnakar karna Nava Safal Banane Hamari jimmedari Hai Radheshyam Lodhi Prathmik Shala bandol Tahsil gotegaon Jila Narsinghpur Madhya Pradesh
    Prathmik shikshak PS Bandol

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  77. Kartvya parayan,turant nirnay lene ki kshamta,hazir jawa ,talmel banana,aadi gun hona jaruri he.

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  78. कुशल नेतृत्व कर्ता के गुण -

    1-अनुशासित।
    2-ईमानदार।
    3-मिलनसार।
    4-साथ लेकर चलने वाला।
    5-निष्पक्ष।
    6-निर्भीक।
    7-विषयों का ज्ञाता।
    8-जिम्मेदार।
    9-समर्पित।
    10-वैज्ञानिक सोच।
    11-रचनात्मक सोच।
    12-नवाचारी।

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  79. Anushashan or gyan hona adi jaruri he

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  80. प्रभावशाली नेतृत्वकर्ता में निम्न गुणों होना चाहिये- 1संस्थान के प्रति समर्पण भाव से कार्य करना। 2समय का पाबन्द होना। 3शालीन एवं निष्पक्ष व्यबहार करना। 4 सही समय पर सही निर्णय लेना 5 स्वम् पहल करना। 6 सकारात्मक दृष्टिकोण अपनाना 7 अकादमिक नेतृत्वकर्ता के रूप में शिक्षण अधिगम प्रक्रियाओं का नेतृत्व करना। 8नेतृत्व की भूमिका कार्यो पर हो जो ज्ञान, कौशल एवं अभिवृत्ति से सशक्त होना। 9 वर्तमान में कोबिड-19 के संकटकाल में अतिरिक्त जिम्मेदारी लेना मोबाइल, व्हाट्सएप और अन्य संचार माध्यमों के द्वारा शिक्षकों और छात्रों के निरन्तर सम्पर्क में रहना। 10 परिवर्तन लाने के लिए सतत प्रयत्नशील रहना जिससे विद्यार्थी अपेछित स्तर प्राप्त कर सके

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  81. पहल करना सकारात्मक दृष्टिकोण रखना, स्वप्रेरित होना तथा परिवर्तन लाने के लिए सतत् प्रयत्नशील होना के साथ एक नेतृत्व कर्ता की तरह तरह सोचना और कल्पना करना कि जिन कार्यों पर आप समय दे रहे हैं पर आपके विद्यालय को सुधार व रूपांतरण की दिशा में ले जा रहे हैं या नहीं।
    इसके अलावा एक सफल नेतृत्व करता को ऊर्जावान होना सभी के साथ मित्रवत व्यवहार करना तथा स्वयं को समस्या समाधान करता की छवि में दिखाना भी आवश्यक होता है।
    हरदयाल पटेल प्राथमिक शिक्षक शासकीय प्राथमिक शाला Naibakharanविकासखंड बिजावर जिला छतरपुर मध्य प्रदेश

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  82. ओमप्रकाश पाटीदार प्रा.शा.नाँदखेड़ा रैय्यत विकासखंड पुनासा जिला खण्डवा
    प्रभावशाली नेतृत्वकर्ता में श्रमशीलता, अनुशासन प्रिय,साहस, मित्रवत व्यवहार, स्वनियंत्रण, शालीनव्यवहार,समर्पण भाव,कार्यकुशलता, आदि गुण आवश्यक है।

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  83. प्रभावशाली नेतृत्व कर्ता में सभी आवश्यक गुणों का होना आवश्यक है जिसमें अनुशासन प्रिय,साहसी, स्वयं निर्णय लेने की क्षमता, व्यवहार कुशल, समर्पण भावना, दूरदृष्टी सोच, कुशल नेतृत्व कर्ता, परिश्रमी,आत्म विश्वासी,निष्पक्ष व्यवहार, स्पष्ट वादी आदि गुणों का होना आवश्यक है।

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  84. Tulsha Barsaiya MS bagh farhat afza ,bhopal.
    प्रभावशाली नेतृत्वकर्ता के प्रमुख गुणों के अंतर्गत
    (1) समय का पाबंद होना।
    (2) अनुशासन प्रिय होना।
    (3) साहसी होना।
    (4) मृदुभाषी एवं कुशल वक्ता।
    (5) निष्पक्ष व्यवहार।
    (6)निष्पक्ष।
    (7)निर्भीक।
    (8)विषयों का ज्ञाता।
    (9)जिम्मेदार।

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  85. एक प्रभावशाली नेतृत्व
    कर्ता के गुण 1- स्वयं का विकास करना जो जीवन पर्यन्त चलने वाली प्रक्रिया है| 2 अपनी सोच, ज्ञान, कौशल में बदलाव एवं वृद्धि लाना सकारात्मक दिशा में 3 आत्मविश्वास 4 स्वाध्याय द्वारा व्यासायिक विकास करना 5 नवाचार 6 अच्छा श्रोता 7 निर्णय लेने की क्षमता 8 आइ. सी.टी. का ज्ञान 9 रचनात्मकता 10 संचार एवं तकनीक का ज्ञान 11 अभिभावकों एवं समुदाय से सामंजस्य 12 साथी अध्यापक को नवाचार एवभागीदारी में सहयोग 14 प्रति रोध क्षमता एवं लचीलापन 15 अनुशासित 16 स्वयं को रोल मॉडल अनुरूप रखने हेतु व्यवहार कुशल 14 आप दुनिया स्थिति में बेहतर प्रबंधन 15 छात्र अधिगम अभिवृत्ति का ज्ञान एवं पूति करना

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  86. एक कुशल नेतृत्व कर्ता बनने के लिए सकारात्मक दृष्टिकोण ,मृदुभाषी मिलनसार आदि गुणों का होना अति आवश्यक हैं।

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  87. Navachari,sahansheel,yogya,. Karmth, sahyogi,mradubhashi,saymit

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  88. सकारात्मक दृष्टिकोण का होना एक कुशल नेतृव कर्ता की पहचान है।
    हमारे प्रधान बीलकुल शून्य है

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  89. Prabhavshali netratva ke pramukh gun 1.anushashanpriya2jigyasu3saralpriya 4samarpanbhav5aatmavishwas aadi gun hona chaiye

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  90. सकारात्मक सोच रखनी होगी। मन प्रसन्नता से भरा होना चाहिए। कुछ नया की तीव्र इच्छा होनी चाहिए।

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  91. एक अच्छे नेतृत्वकर्ता के लिए अनुशासन प्रिय , सतत प्रयत्नशील , मृदुभाषी अर्थात स्टाफ के साथ सामंजस्य बनाये रखने का गुण होना चाहिए जो कि बहुत जरूरी है ।
    दीप्ति जैन शिक्षिका दतिया (म. प्र.)

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  92. Hame apne kary ke liye hamesa sajag rehna chahiye. Apni kary chhamta par atut bharosa hona chaiy. Tabhi ham apne dayitv ka sahi nirvay kar payenge.

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  93. ASHIM KUMAR TIWARI CAC BALSAMUD RAJPUR BARWANI
    एक प्रभावशाली नेतृत्वकर्ता के रूप में प्रथम आवश्यक गुण प्रशासनिक क्षमता का होना आवश्यक है अपने अधीनस्थ या अपनी टीम से विपरित परिस्थितियों में भी 100% कार्य करवा लेने की क्षमता का होना आवश्यक है नेतृत्वकर्ता के अपने साथियों से संबंध इस तरह होने चाहिए की कार्य बिना कहे पूर्ण हो जाय

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  94. एक नेतृत्व कर्ता कि अपनी दृष्टि होती है, एक विद्यालय प्रधान के तोर पर अनेक महत्व पूर्ण भूमिकाएं निभाए अपनी समझ में और बहुत कुछ जोडने की आवश्यकता है,

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  95. एक सफल नेतृत्व कर्ता अपने आचार,विचार और व्यवहार से स्वयं का उदाहरण प्रस्तुत कर अपने सहयोगियों एवं बच्चों को अनुकरण हेतु प्रेरित करता है।किसी भी समस्या के प्रति सकारात्मक सोच रख उससे निदान हेतु योजनाबद्ध तरीके से कार्य को अंजाम देता है।सभी के मन सम्मान का ध्यान रखते हुए उनसे अपेक्षित कार्य कर लेने का कौशल उसमें होना आवश्यक है।सदैव नवाचारों को प्रोत्साहन देना,सहयोगी साथियों को उत्कृष्ट प्रदर्शन के लिये प्रेरित करना,शालेय सुविधाओं में वृद्धि, अनुशासन प्रिय,एवं मिलनसारिता के गुण उसे सफलता दिल सकते हैं।

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  96. प्रभावशाली नेतृत्वकर्ता के गुणों के अंतर्गत व्यक्ति में नियमितता , समयबद्धता , अनुशासन प्रिय , व्यवहारकुशल, संवेदनशील, आत्मविश्वास, परिश्रमी, और प्रसन्नचित्त होना चाहिए ।

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  97. अन्य गुण भी होना चाहिए
    1
    ईमानदार
    2
    पदानुरुप शिक्षित
    3
    संवेदनशील
    4
    धैर्यवान
    5 चरित्र वान

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  98. सकारात्मक दृष्टिकोण का होना एक कुशल नेतृत्व करता की पहचान है

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  99. प्रभावशाली नेतृत्वकर्ता में निम्नलिखित गुण होना चाहिए-
    1.अनुशासन प्रिय
    2. व्यवहार कुशल
    3. समय का पाबंद
    4. समर्पण की भावना
    5. निष्पक्ष
    6. नवाचारी
    7. वैज्ञानिक सोच
    8. संवेदनशील
    9.मिलनसार
    10. दूरदर्शी
    इस प्रकार एक प्रभावशाली नेतृत्वकर्ता को सहज, सरल, लचीला, ईमानदार, और मेहनती होना चाहिए।
    प्रेषक:- आशीष कुमार पानकर, प्रधानाध्यापक,
    शासकीय कन्या उ. मा. शाला बुधनी जिला सीहोर

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  100. सकारात्मक दृष्टिकोण का होना एक कुशल नेतृत्व करता की पहचान

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  101. सफल नेतृत्व कर्ता वही है जो दूसरों के लिए रोल मॉडल / आदर्श हो
    दूसरो से अपेक्षा करने से पहले स्वतः उस कार्य में परफेक्ट / निपुण होना भी सफल नेतृत्व कर्ता की पहचान है
    भेदभाव रहित एक समान व्यवहार भी प्रभावशाली नेतृत्वकर्ता का एक गुण है

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  102. सकारात्मक दृष्टिकोण का होना एक कुशल नेतृत्व करता की पहचान

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  103. नेतृत्व में शिक्षकों में निम्नलिखित गुण होना चाहिए ।
    1/सकारात्मक सोच
    2/नवाचारी सोच
    3/ अभिभावकों व समुदाय से समुचित सहयोग
    4/प्रतिरोधक क्षमता
    5/लचीलापन
    6/ संचार माध्यमों को चलाने का पोषण रचनात्मकता को मूर्त रूप देने का हुनर हो
    आदि

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  104. सकारात्मक दृष्टिकोण का होना एक कुशल नेतृत्व करता की पहचान

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  105. हमेशा नई पहल करना जिससे नवाचारों के द्वारा शिक्षण अधिगम को प्रभावशाली बनाया जा सके विषम परिस्थितियों में सकारात्मक सोच रखते हुए अपने दल का नेतृत्व करना प्रभावशाली नेतृत्व की पहचान है

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  106. प्रभावशाली नेतृत्व के लिए (1)अनुशासन (2) ईमानदारी (3) संवेदनशील (4) आत्मविश्वास (5) परिश्रमी (6) समय (7) धैर्यवान (8) व्यवहार कुशल।

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  107. एक अध्यापक को प्रभावशाली नेतृत्वकर्ता के रूप में अपने आप को स्थापित करने के लिए अपने में सकारात्मक सोच एवं दृष्टिकोण रखना आवश्यक है।

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  108. सफल नेतृत्व करने वाला वही है जो दूसरों के लिए आदर्श को दूसरों की अपेक्षा करने से पहले सौदा उस कार में निपुण होना भी सफल नेतृत्व की पहचान है सफल नेतृत्व के लिए ईमानदार होना सबसे जरूरी है

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  109. कुशल नेतृत्व के लिये सकारात्मक दृष्टिकोंण और सही व त्वरित निर्णय लेने की क्षमता होनी चाहिये ।

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  110. ps Agar सफल नेतृत्व कर्ता वही है जो दूसरों के लिए रोल मॉडल / आदर्श हो
    दूसरो से अपेक्षा करने से पहले स्वतः उस कार्य में परफेक्ट / निपुण होना भी सफल नेतृत्व कर्ता की पहचान है
    भेदभाव रहित एक समान व्यवहार भी प्रभावशाली नेतृत्वकर्ता का एक गुण है

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  111. सफल नेतृत्व कर्ता वही है जो दूसरों के लिए रोल मॉडल / आदर्श हो
    दूसरो से अपेक्षा करने से पहले स्वतः उस कार्य में परफेक्ट / निपुण होना भी सफल नेतृत्व कर्ता की पहचान है
    भेदभाव रहित एक समान व्यवहार भी प्रभावशाली नेतृत्वकर्ता का एक गुण है

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  112. सफल नेतृत्व कर्ता मे निम्न गुण होना चाहिए -
    1॰ सकारात्मक सोच
    2- हमेशा कुछ नया करने की चाह
    3- दूसरों के अनुभव से सीखना
    4- असफलता पर भी हिम्मत न हारना
    5- प्रयत्नशील रहना
    6- सभी के विचारों की सराहना करना

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  113. दूसरों के लिए रोल मॉडल होना ही सफल नेतृत्व करता का गुण है ।सफल नेतृत्व कर्ता की पहचान दूसरों से अपेक्षा करने से पहले स्वयं उस कार में परफेक्ट निपुण होना है। भेदभाव रहित एक समान व्यवहार भी प्रभावशाली नेतृत्व करता का गुण है।
    देवेंद्र राय सहायक शिक्षक प्राथमिक शाला तामिया बस्ती जिला छिंदवाड़ा मध्य प्रदेश

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  114. सफल नेतृत्व कर्ता मे निम्न गुण होना चाहिए -
    1॰ सकारात्मक सोच
    2- हमेशा कुछ नया करने की चाह
    3- दूसरों के अनुभव से सीखना
    4- असफलता पर भी हिम्मत न हारना
    5- प्रयत्नशील रहना
    6- सभी के विचारों की सराहना करना

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  115. सकारात्मक दृष्टिकोण का होना एक कुशल नेतृत्व करता की पहचान

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  116. सकारात्मक दृष्टिकोण का होना एक कुशल नेतृत्व की पहचान है
    एक सफल नेतृत्व करता वोही ह जो दूसरों के किये आदर्श हो ।

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  117. सकारात्मक दष्टिकोण का होना एक कुशल नेतृत्वकर्ता की पहचान हैं।

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  118. अपने कर्तव्यों के प्रति सजग होना और विद्यालय और बच्चों के प्रति समर्पित होना।

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  119. एक अच्छे शिक्षक में वैसे तो कई गुण होने चाहिए,पर सबसे ज्यादा जरुरी है, अपने साथियों और समुदाय के साथ अच्छे मधुर सम्बन्ध हों और वह आसपास के लोगों और मुद्दों की समझ रखता हो। बच्चों, साथियों और समुदाय के विकास को ध्यान में रखते हुए अपने विद्यालय का संचालन करे।

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  120. सुनील सिसोदिया प्राथमीक शिक्षक
    नेतृत्व के लिए पहल करना, सकारात्मक सोच, स्वप्रेरित होना, परिवर्तन लाने के सतत प्रयत्नशील होना नेतृत्व का प्रभावशाली गुण है।

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  121. मेरे अनुसार मेरे अनुसार प्रभावशाली नेतृत्व करता में अन्य गुण होने चाहिए जैसी सहनशील दूसरा अनुशासित तीन कर्तव्यनिष्ठ चौथा सहयोगी पांचवा श्रम सिलता जो व्यक्ति श्रम को ही पूजा मानते हैं दूसरों का हस्त सेवा निंदा ना करती हूं ऐसे गुण गुण भी शिक्षक में होने चाहिए

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  122. एक प्रभावशाली नेतृत्वकर्ता में निम्न गुणों का समावेश होना चाहिए-कार्य कुशलता, अनुशासनप्रियता,मृदुभाषी, नवाचारी,ईमानदारी,स्पष्टवादी,प्रसन्न चित्त, निष्पक्ष, पहलकर्ता,समय का पावन्द, कर्तव्यनिष्ठ,आदर्श ब्यक्तित्व, संस्थागत समर्पण की भावना,ICTदक्षता आदि।

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  123. नमस्कार,
    प्रभावशाली नेतृत्वकर्ता एक कलात्मक व्यक्तित्व है। जो सदैव ही अपने छोटे-बड़े कार्यो/ क्रियाकलापों से दूसरों को प्रेरक और मार्गदर्शक का कार्य करता है।
    हमारे विचार से प्रभावशाली नेतृत्व करता में निम्नलिखित गुणों का होना आवश्यक है-
    (1) समय का पाबंद होना।
    (2) अनुशासन प्रिय होना।
    (3) साहसी होना।
    (4) मृदुभाषी एवं कुशल वक्ता।
    (5) निष्पक्ष व्यवहार।
    (6) कुशल कार्य नियोजक।
    (7) त्वरित और विवेकपूर्ण निर्णय लेने की क्षमता।
    (8) स्व नियंत्रण।
    (9) संस्थागत समर्पण भाव।
    (10) सहज प्रवृत्ति, अहम की भावना से दूर।
    (11) जानकार नवाचारी।
    (12) वैकल्पिक विचारधारा।
    (13) वैज्ञानिक सोच।
    (14) संगठनात्मक पहल।
    (15) सर्वधर्म समभाव।
    (16) सहानुभूति पूर्ण व्यवहार।
    प्रभावशाली नेतृत्वकर्ता के समस्त गुणों से परिपूर्ण व्यक्तित्व का सबसे अच्छा उदाहरण भारतीय तीनों सेनाओं जल,थल और वायु सेनाध्यक्ष हैं, जिनके एक इशारे पर छोटा सा प्लाटून भी पल भर में किसी भी स्थान की भौगोलिक स्थिति बदल सकता है। जो राष्ट्रभक्ति के लिए अपने प्राणों का बलिदान देने हमेशा तत्पर हो। प्रभावी नेतृत्व के द्वारा बड़े-बड़े असंभव कार्यों को भी हम आसानी से पूरा करने में सफल हो सकते है, चाहे समुद्र पर पुल बाँधना हो या मंगल ग्रह पर अंतरिक्ष यान पहुँचाना हो।। बहुत बहुत धन्यवाद ।। श्रीकांत कुर्मी, प्राथमिक शिक्षक, शासकीय प्राथमिक विद्यालय बसिया,, विकासखंड-बटियागढ़,, जिला-दमोह (23120703801)

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  124. विद्यालय ईंट गारे से बनाई गई इमारत नहीं है अपितु वह स्थान है जहां बालक के हिरदया में सोए हुए ज्ञान को जगाने का वातावरण बनाया जाता है।

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  125. नमस्कार,
    प्रभावशाली नेतृत्वकर्ता एक कलात्मक व्यक्तित्व है। जो सदैव ही अपने छोटे-बड़े कार्यो/ क्रियाकलापों से दूसरों को प्रेरक और मार्गदर्शक का कार्य करता है।
    हमारे विचार से प्रभावशाली नेतृत्व करता में निम्नलिखित गुणों का होना आवश्यक है-
    (1) समय का पाबंद होना।
    (2) अनुशासन प्रिय होना।
    (3) साहसी होना।
    (4) मृदुभाषी एवं कुशल वक्ता।
    (5) निष्पक्ष व्यवहार।
    (6) कुशल कार्य नियोजक।
    (7) त्वरित और विवेकपूर्ण निर्णय लेने की क्षमता।
    (8) स्व नियंत्रण।
    (9) संस्थागत समर्पण भाव।
    (10) सहज प्रवृत्ति, अहम की भावना से दूर।
    (11) जानकार नवाचारी।
    (12) वैकल्पिक विचारधारा।
    (13) वैज्ञानिक सोच।
    (14) संगठनात्मक पहल।
    (15) सर्वधर्म समभाव।
    (16) सहानुभूति पूर्ण व्यवहार।
    प्रभावशाली नेतृत्वकर्ता के समस्त गुणों से परिपूर्ण व्यक्तित्व का सबसे अच्छा उदाहरण भारतीय तीनों सेनाओं जल,थल और वायु सेनाध्यक्ष हैं, जिनके एक इशारे पर छोटा सा प्लाटून भी पल भर में किसी भी स्थान की भौगोलिक स्थिति बदल सकता है। जो राष्ट्रभक्ति के लिए अपने प्राणों का बलिदान देने हमेशा तत्पर हो। प्रभावी नेतृत्व के द्वारा बड़े-बड़े असंभव कार्यों को भी हम आसानी से पूरा करने में सफल हो सकते है, चाहे समुद्र पर पुल बाँधना हो या मंगल ग्रह पर अंतरिक्ष यान पहुँचाना हो।। बहुत बहुत धन्यवाद ।। श्रीकांत कुर्मी, प्राथमिक शिक्षक, शासकीय प्राथमिक विद्यालय बसिया,, विकासखंड-बटियागढ़,, जिला-दमोह (23120703801)

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  126. मैं नाथूराम अहिरवार सहायक शिक्षक मा०शा०लोधाखेड़ी जिला विदिशा Disecode 23310416802


    एक अच्छे शाला प्रमुख मे नेतृव क्षमता विकास के मान से निम्न गुण होना चाहिए ।
    1- सहानुभूति पूर्वक चिंतन करना ।
    2- उचित समय पर उचित निर्णय लेने की क्षमता ।
    3- शालीनता पूर्ण व्यवहार ।
    4- अच्छा आचरण
    5- म्रदुभाषी
    6- सहयोगीयो को आकर्षित करने की क्षमता ।
    7- उचित प्रबंधन
    8- प्रत्येक शैक्षणिक कार्य मे पृपक्व
    9- अहम को अपने से दूर रखना
    10-वरिष्ठ अधिकारियों का सम्मान पूर्वक आदर करना एवं आदेशो का समय सीमा मे पालन करना ।
    11- कर्तव्य निष्ठा पूर्वक कार्य करना ।
    12- नवीन सृजनता के प्रति प्रयासरत रहना ।
    13- नवाचार की खोज करना ।
    14- शाला मे प्रत्येक आवश्यकता की वस्तु को समय पर उपलब्ध करना ।
    15-सबको साथ लेकर चलने की आदत मिलनसार दूसरों का सम्मान करना ।

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  127. Ek achhe netratvkarta me bahut sare gun hona chahiye.

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  128. कुशल नेतृत्व. कर्ता में सहनशीलता कार्य कीसमझ त्वरित निर्णय क्षमताके साथ संगठन क्षमता भी होना चाहिए|

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  129. प्रभावशाली नेतृत्व के लिए प्रमुख गुण होने चाहिए ।1 परिश्रमी
    2आईसीटी में दक्ष होना चाहिए।
    3 अपना उत्तरदायित्व निभाना जानता हो।
    4 साहसी हो
    5 संस्था के लिए समर्पित होना चाहिए ।
    6 कुशल नेतृत्व की क्षमता हो।
    7 स्पष्ट वादी हो ।
    8निष्पक्ष हो।
    9 नवाचारी सोच रखता हो।
    10 धैर्यवान हो।
    11 वैज्ञानिक दृष्टिकोण रखता हो ।11अनुशासन प्रिय हो। एवं
    12मृदुल हो

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  130. नियमितता , समयबद्धता, अनुशासन प्रिय , संवेदनशीलता ,स्पष्टवादी , सहनशीलता , परिश्रमी, व्यवहारकुशल , आत्मविश्वास एवं प्रसन्नचित्त होना चाहिए

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  131. कुशल नेतृत्व करता मैं सहनशीलता कार्य की समझ त्वरित निर्णय क्षमता के साथ संगठन क्षमता भी होना चाहिए

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  132. किसी भी संस्था में प्रभावशाली नेतृत्व करने के लिए सबसे पहले उस संस्था की संपूर्ण जानकारी होने के साथ साथ उसके समस्त घटकों को जानना आवश्यक है

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  133. कुशल नेतृत्वकर्ता में सहनशीलता कार्य की समझ के साथ-साथ संगठन क्षमता भी होनी चाहिए|

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  134. प्रभावशाली नेतृत्व करता में निम्नलिखित गुणों का होना आवश्यक है-
    (1) समय का पाबंद होना।
    (2) अनुशासन प्रिय होना।
    (3) मृदुभाषी एवं कुशल वक्ता।
    (4) निष्पक्ष व्यवहार।
    (5) विवेकपूर्ण निर्णय लेने की क्षमता।
    (6) स्व नियंत्रण।
    (7) सहज प्रवृत्ति, ।
    (8) नवाचारी।
    (9) वैज्ञानिक सोच।
    (10) संगठनात्मक सोच।
    (11) सहानुभूति पूर्ण व्यवहार।
    (12) मित्रतापूर्ण व्यवहार

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  135. Based on our research, we’ve found that great leaders consistently possess these 10 core leadership skills:

    Integrity
    Ability to delegate
    Communication
    Self-awareness
    Gratitude
    Learning agility
    Influence
    Empathy
    Courage
    Respect

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  136. Sakaratmak drishtikon Ka Hona Ek Kushal netrutva Karta Ki pahchan Hai

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  137. प्रभावशाली नेतृत्व कर्ता के 16 गुण अनुशासन प्रिय होना ---- एक नेतृत्व कर्ता को स्वयं अनुशासित जीवन जीना चाहिए ! और समय पर हर काम को पूरा करना चाहिए ! ऐसा होने पर ही उसके Subordinate और colleague अनुशासित रहेंगे और अपने निर्धारित कार्यों को समय पर पूरा करने का प्रयास करेंगे !


    श्रमशीलता --- जो व्यक्ति श्रम को ही पूजा मानते हैं तथा अपेक्षा से अधिक काम करने की चाहत व क्षमता रखते हैं ,वे ही अपने सहकर्मियों को और अधिक अच्छा करने की प्रेरणा दे सकते हैं !

    उत्तरदायी होना ---व्यक्ति को अपने कार्यों के प्रति जिम्मेदार या उत्तरदायी होने के साथ -साथ अपने अंतर्गत काम करने वालों की गलतियों व असफलताओं के दायित्व को स्वीकार करने का साहस भी होना चाहिए ! ऐसा किये बिना उनके विश्वास को नहीं जीता जा सकता !

    वस्तुनिष्ठ व्यवहार ---सफल नेतृत्व कर्ता के व्यवहार में निष्पक्षता एवं सोच में वस्तुनिष्ठता का गुण होना चाहिए ! इसके लिए Personal relationships को professional relationships से बिलकुल अलग रखा जाना चाहिए !

    साहस ---नेतृत्वकर्ता को साहस का परिचय देते हुए चुनौतियों को स्वीकार करना चाहिए और अपना पुरुषार्थ करना चाहिए ! जो व्यक्ति आत्मविश्वास से भरपूर और निर्भय नहीं होते हैं ,उनके नेतृत्व को बार-बार चुनोतियाँ मिलती रहती हैं और ऐसे व्यक्ति के नेतृत्व को उसके सहकर्मी लम्बे समय तक स्वीकार नहीं कर पाते !


    स्वनियंत्रण ---नेतृत्व कर्ता को अपनी वाणी एवं व्यवहार ,अपने नियंत्रण में रखना आना चाहिए ! क्योंकि नेतृत्व कर्ता के मर्यादाहीन व्यवहार से उसके नियंत्रण में काम करने वाले लोग भी मनमानी करने लगते हैं !

    सही निर्णय लेने की क्षमता ---जो व्यक्ति अपने निर्णयों को बार-बार बदलता है , उसकी निष्पक्षता और बुद्धिमत्ता संदिग्ध रहती है ! इसीलिए नेतृत्व कर्ता को ठीक से सोच विचार कर दूरदर्शिता के साथ सही निर्णय लेना आना चाहिए !

    स्पष्ट योजना ---एक सफल नेतृत्व कर्ता केवल अनुमान के आधार पर कोई कार्य नहीं कर सकता ! उसे कार्य की योजना बनाना और योजनानुसार कार्य करना आना चाहिए !

    सहानुभूतिपूर्ण सोच ---एक नेतृत्व कर्ता को सकारात्मक और सहानुभूतिपूर्ण सोच वाला होना चाहिए ! साथ वालों का बुरा न हो और यथा संभव भला हो ,ऐसे व्यवहार से ही दूसरों का दिल जीता जा सकता है !

    शालीन व्यवहार ---कहते हैं ,व्यक्ति वाणी से ही दोस्त और दुश्मन बनाता है ! वाणी में मिठास और व्यवहार में शालीनता व्यक्ति को समूह में स्वीकृति दिलवाती हैं ,जो नेतृत्व की सफलता में महत्वपूर्ण भूमिका निभाती हैं !

    सहकारिता की प्रवृति ---नेतृत्व कर्ता अपने हर काम को सहकार अर्थात एक सबके लिए ,सब एक के लिए की भावना से करता है ! वो अपने समूह की सफलता में ही अपनी सफलता देखता है !


    अहम् से दूरी ---नेतृत्व कर्ता में अपनी कमजोरियों या गुणों के सम्बन्ध में किसी प्रकार की ग्रंथि नहीं होनी चाहिए ! उसे अपने अहम् को दूर रख यथार्थ को स्वीकार करने का साहस दिखाना चाहिए !

    संस्थान के लिए समर्पण भावना ---जो अधिकारी अपने संस्थान के हितों के प्रति समर्पित नहीं होता , उसे अपने अधीनस्थों से भी ऐसी आशा नहीं रखनी चाहिए !

    जानकारी की पूर्णता ---नेतृत्व कर्ता को अपने संस्थान के प्रत्येक कार्य की थोड़ी या अधिक जानकारी अनिवार्य रूप से होनी चाहिए ! इसके अभाव में उसको सहायकों द्वारा मुर्ख बनाये जाने की संभावनाएं बढ़ जाती हैं !

    संपर्कों से सुद्रढ़ता ---नेतृत्व कर्ता का व्यावसायिक और गैर व्यावसायिक क्षेत्रों से भी संपर्क होना चाहिए और उनकी जरुरत के समय यथा संभव सहयोग भी करना चाहिए ! इससे उसे भी अन्य लोगों का सहयोग मिलेगा !

    अनोपचारिक सम्बन्ध ---नेतृत्व कर्ता को अपने सम्बन्ध को प्रगाढ़ करने के लिए अपने साथियों की खुशियों में उत्सव मनाने और विपत्ति के समय सहानुभूति व्यक्त करने से संबंधों में प्रगाढ़ता बढती है !

    नेतृत्व कुशलता एक ऐसी कला है ,जिसके माध्यम से बहुत आसानी से बड़े-बड़े असंभव कार्यों को भी सरलता के साथ किया जा सकता है ! बिना मार्गदर्शन के आगे बढ़ने में भटकाव ही होता है ! और किसी भी तरह की सफलता प्राप्त नहीं होती है ! बिना नेतृत्व के इकठ्ठा हुयी भीड़ से कुछ ख़ास कार्य नहीं कराया जा सकता , वहीं सही नेतृत्व से सेना की एक छोटी सी टुकड़ी के द्वारा भी युद्ध जीता जा सकता है !

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  138. एक कुशल नेतृत्व करता में सभी सामाजिक मानवी व्यवहारिक गुणों का होना आवश्यक है उसे सांसी श्रमदान कुशल नेतृत्व करता आईसीटी में दक्ष समय का पाबंद होना लचीलापन रहना व्यवहार में आदि गुणों का होना अत्यंत आवश्यक है

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  139. सकारात्मक दृष्टिकोण का होना एक कुशल नेतृत्व करता की पहचान है
    कुशल नेतृत्वकर्ता में सहनशीलता कार्य की समझ के साथ-साथ संगठन क्षमता भी होनी चाहिए|

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  140. Rakesh panthi primary teacher Khairoda bagrod block Ganj Basoda district Vidisha unique I'd by7721
    नेतृत्वकर्ता अनुशासन प्रिय होना चाहिए।
    श्रम शीलता का गुण होना चाहिए।
    अपने कर्तव्य के प्रति उत्तरदाई होना चाहिए।
    एक नेतृत्वकर्ता का व्यवहार वस्तुनिष्ठ होना चाहिए।
    एक नेतृत्वकर्ता में सही निर्णय लेने की क्षमता होनी चाहिए।

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  141. प्रभावशाली नेतृत्व करता बनने के लिए प्रमुख गुण न( 1) आदर्श व्यवहार (2) सही निर्णय लेने की क्षमता (3) सभी शिक्षक साथी को साथ लेकर चलने की क्षमता (4) शाला के लिए उचित प्रबंधन (5) अपनी शाला को उच्च स्तर तक ले जाने की क्षमता

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  142. This comment has been removed by the author.

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  143. प्रभावशाली नेतृत्वकर्ता के प्रमुख गुणों के अंतर्गत नियमितता , समयबद्धता, अनुशासन प्रिय , संवेदनशीलता ,स्पष्टवादी , सहनशीलता , परिश्रमी, व्यवहारकुशल , आत्मविश्वास एवं प्रसन्नचित्त होना चाहिए

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  144. सफल नेतृत्व कर्ता वही है जो दूसरों के लिए रोल मॉडल / आदर्श हो
    दूसरो से अपेक्षा करने से पहले स्वतः उस कार्य में परफेक्ट / निपुण होना भी सफल नेतृत्व कर्ता की पहचान है
    भेदभाव रहित एक समान व्यवहार भी प्रभावशाली नेतृत्वकर्ता का एक गुण है प्रभावशाली नेतृत्व करता बनने के लिए प्रमुख गुण न( 1) आदर्श व्यवहार (2) सही निर्णय लेने की क्षमता (3) सभी शिक्षक साथी को साथ लेकर चलने की क्षमता (4) शाला के लिए उचित प्रबंधन (5) अपनी शाला को उच्च स्तर तक ले जाने की क्षमता

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  145. मै सहजेन्द्र कुमार चतुर्वेदी सहायक शिक्षक प्राथमिक विद्यालय सिन्दुरी (चुनिया)jsk Mlb shahdol mp यह प्रशिक्षण कार्यक्रम से हमको विद्यालय के अन्तर्गत सभी गतिविधियो को सुचारू रूप से क्रियान्वित करूंगा ।।

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  146. ★★★एक प्रभावशाली नेतृत्वकर्ता के प्रमुख गुण ----- ------- ------- ----- 1. सकारात्मक दृष्टिकोण।। 2. अनुसाशन प्रिय होना।। 3.उत्तरदायी होना।। 4.सही निर्णय की क्षमता होना।। 5.शालीन एवं विनम्र व्यवहार का पाया जाना।। 6.अपने कार्यस्थल/संस्थान के प्रति सकारात्मक एवं समर्पण की भावना। 7.जानकारी की समझ होना।। 8.दूसरों के लिए रोल मॉडल हो।। 9.स्टॉफ के बीच भेदभाव रहित समान व्यहवार का गुण हो।। 10.सहनशीलता एवं त्वरित निर्णय लेने की क्षमता का गुण हो।। 11.समय का पाबन्द हो।। 12.आत्मविश्वास से परिपूर्ण हो।। 13.प्रसन्नचित एवं मधुर वयवहार हो।। 14.कुशल वक्ता व नवाचारी हो।। 15.अहम की भावना से दूर हो।। 16.जनसहयोग की भावना हो।। 17.विपरीत परिस्थितियों में भी कार्य करने की क्षमता हो।। 18.पहल कर्ता हो।। 19.वैज्ञानिक सोच हो।। 20.स्टॉफ के सभी सदस्यों को अपनी बात रखने के समान अवसर प्रदान करे। ---- ------ ------ ------- ------- मोहम्मद सलीम नागोरी, उर्दू माध्यमिक स्कूल,महिदपुर,जिला उज्जैन। (डाइस कोड...23210600113 )★★★

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  147. Effective leadership k liye some other qualities should be:
    1)Leadership efficiency.
    2)opportunist.
    3)samvedanshil.
    4)veghyanik drashtikon.
    5)apne adhikaro and jimmedariyo k prati jagruk.
    6)nidar and sahshik.

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  148. प्रभावशाली नेतृत्व करता वही होता है जो कि अनुशासन आत्मविश्वास समय का पाबंद शिक्षक साथियों को साथ में लेकर चलने वाला नवाचारी लचीलापन व्यवहार कुशल सभी शिक्षक साथियों को साथ लेकर चलने वाला नवाचारी नए-नए प्रयोग द्वारा बच्चों का सर्वांगीण विकास कर सके l

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  149. अखिलेश भारद्वाज(प्राथमिक शिक्षक)
    शासकीय जवाहर कन्या हाईस्कूल छिंदवाड़ा


    एक प्रभावशाली नेतृत्वकर्ता सबसे अलग कलात्मक व्यक्तित्व का धनी ब्यक्ति होता है। जो सदैव ही अपने छोटे-बड़े कार्यो/ क्रियाकलापों से दूसरों को प्रेरक और मार्गदर्शक का कार्य करता है।
    हमारे विचार से प्रभावशाली नेतृत्व करता में निम्नलिखित गुणों का होना आवश्यक है-
    (1) समय का पाबंद होना।
    (2) अनुशासन प्रिय होना।
    (3) साहसी होना।
    (4) मृदुभाषी एवं कुशल वक्ता।
    (5) निष्पक्ष व्यवहार।
    (6) कुशल कार्य नियोजक।
    (7) त्वरित और विवेकपूर्ण निर्णय लेने की क्षमता।
    (8) स्व नियंत्रण।
    (9) संस्थागत समर्पण भाव।
    (10) सहज प्रवृत्ति, अहम की भावना से दूर।
    (11) जानकार नवाचारी।
    (12) वैकल्पिक विचारधारा।
    (13) वैज्ञानिक सोच।
    (14) संगठनात्मक पहल।
    (15) सर्वधर्म समभाव।
    (16) सहानुभूति पूर्ण व्यवहार।
    प्रभावशाली नेतृत्वकर्ता के समस्त गुणों से परिपूर्ण व्यक्तित्व का सबसे अच्छा उदाहरण भारतीय तीनों सेनाओं जल,थल और नभसेनाध्यक्ष हैं, जिनके एक इशारे पर छोटा सा प्लाटून भी पल भर में किसी भी स्थान की भौगोलिक स्थिति बदल सकता है। जो राष्ट्रभक्ति के लिए अपने प्राणों का बलिदान देने हमेशा ततपर हो।प्रभावी नेतृत्व के द्वारा बड़े-बड़े असंभव कार्यों को भी हम आसानी से पूरा करने में सफल हो सकते है,चाहे समुद्र पर पुल बाँधना हो या मंगल ग्रह पर अंतरिक्ष यान पहुँचाना हो।

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  150. एक अच्छा अवसर मुझे अपनी प्रतिभा और कर्तव्य को निर्वहन करने का मिल रहा है ।।मै समर्पित भाव से एक शिक्षक होने के नाते अपनी जिम्मेदार निभाता रहूंगा ।। सहजेन्द्र चतुर्वेदी शिक्षक प्राथमिक विद्यालय सिन्दुरी चुनिया संकुल एम एल बी विकास खंड सोहागपुर शहडोल मप्र

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  151. One who work with confidence and gives appreciation to staff,motivate student ,inventor of new ideas

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  152. समुदाय ,अभिभावकों कि साझेदारी सहयोग लेना । आपदा मे धैर्य रखना व सही निर्णय लेने कि क्षमता होना ।

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  153. प्रभावशाली नेतृत्व कर्ता बनने के लिए धैर्य ,सहनशीलता , सकारात्मक सोच एवं त्याग की भावना खना आवश्यक है l

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  154. प्रभावशाली नेतृत्वकर्ता बनने के लिए आप में क्या प्रमुख गुण होने चाहिए?

    उनमें से कुछ निम्नलिखित हैं-

    पहल करना

    सकारात्मक दृष्टिकोण रखना

    स्वप्रेरित होना

    परिवर्तन लाने के लिए सतत प्रयत्नशील रहना


    आपके अनुसार प्रभावशाली नेतृत्वकर्ता में अन्य कौन-कौन से गुण होने चाहिए?

    उपरोक्त प्रश्न में उल्लेखित गुणों के साथ ही निम्नलिखित गुणों का भी होना आवश्यक है-
    (1)अनुशासन प्रिय होना ---- एक नेतृत्व कर्ता को स्वयं अनुशासित जीवन जीना चाहिए ! और समय पर हर काम को पूरा करना चाहिए ! ऐसा होने पर ही उसके Subordinate और colleague अनुशासित रहेंगे और अपने निर्धारित कार्यों को समय पर पूरा करने का प्रयास करेंगे !


    (2)श्रमशीलता --- जो व्यक्ति श्रम को ही पूजा मानते हैं तथा अपेक्षा से अधिक काम करने की चाहत व क्षमता रखते हैं ,वे ही अपने सहकर्मियों को और अधिक अच्छा करने की प्रेरणा दे सकते हैं !

    (3)उत्तरदायी होना ---व्यक्ति को अपने कार्यों के प्रति जिम्मेदार या उत्तरदायी होने के साथ -साथ अपने अंतर्गत काम करने वालों की गलतियों व असफलताओं के दायित्व को स्वीकार करने का साहस भी होना चाहिए ! ऐसा किये बिना उनके विश्वास को नहीं जीता जा सकता !

    4)वस्तुनिष्ठ व्यवहार ---सफल नेतृत्व कर्ता के व्यवहार में निष्पक्षता एवं सोच में वस्तुनिष्ठता का गुण होना चाहिए ! इसके लिए व्यक्तिगत संबंधों को व्यावसायिक संबंधों या कर्तव्यों से बिलकुल अलग रखा जाना चाहिए

    5)साहस ---नेतृत्वकर्ता को साहस का परिचय देते हुए चुनौतियों को स्वीकार करना चाहिए और अपना पुरुषार्थ करना चाहिए ! जो व्यक्ति आत्मविश्वास से भरपूर और निर्भय नहीं होते हैं ,उनके नेतृत्व को बार-बार चुनोतियाँ मिलती रहती हैं और ऐसे व्यक्ति के नेतृत्व को उसके सहकर्मी लम्बे समय तक स्वीकार नहीं कर पाते !


    (6)स्वनियंत्रण ---नेतृत्व कर्ता को अपनी वाणी एवं व्यवहार ,अपने नियंत्रण में रखना आना चाहिए ! क्योंकि नेतृत्व कर्ता के मर्यादाहीन व्यवहार से उसके नियंत्रण में काम करने वाले लोग भी मनमानी करने लगते हैं !

    (7) सही निर्णय लेने की क्षमता ---जो व्यक्ति अपने निर्णयों को बार-बार बदलता है , उसकी निष्पक्षता और बुद्धिमत्ता संदिग्ध रहती है ! इसीलिए नेतृत्व कर्ता को ठीक से सोच विचार कर दूरदर्शिता के साथ सही निर्णय लेना आना चाहिए !

    8)स्पष्ट योजना ---एक सफल नेतृत्व कर्ता केवल अनुमान के आधार पर कोई कार्य नहीं कर सकता ! उसे कार्य की योजना बनाना और योजनानुसार कार्य करना आना चाहिए !

    9)सहानुभूतिपूर्ण सोच ---एक नेतृत्व कर्ता को सकारात्मक और सहानुभूतिपूर्ण सोच वाला होना चाहिए ! साथ वालों का बुरा न हो और यथा संभव भला हो ,ऐसे व्यवहार से ही दूसरों का दिल जीता जा सकता है !

    (10) शालीन व्यवहार ---कहते हैं ,व्यक्ति वाणी से ही दोस्त और दुश्मन बनाता है ! वाणी में मिठास और व्यवहार में शालीनता व्यक्ति को समूह में स्वीकृति दिलवाती हैं ,जो नेतृत्व की सफलता में महत्वपूर्ण भूमिका निभाती हैं !

    (11) सहकारिता की प्रवृति ---नेतृत्व कर्ता अपने हर काम को सहकार अर्थात एक सबके लिए ,सब एक के लिए की भावना से करता है ! वो अपने समूह की सफलता में ही अपनी सफलता देखता है !


    (12) अहम् से दूरी ---नेतृत्व कर्ता में अपनी कमजोरियों या गुणों के सम्बन्ध में किसी प्रकार की ग्रंथि नहीं होनी चाहिए ! उसे अपने अहम् को दूर रख यथार्थ को स्वीकार करने का साहस दिखाना चाहिए !

    (13) संस्थान के लिए समर्पण भावना ---जो अधिकारी अपने संस्थान के हितों के प्रति समर्पित नहीं होता , उसे अपने अधीनस्थों से भी ऐसी आशा नहीं रखनी चाहिए !

    (14) जानकारी की पूर्णता ---नेतृत्व कर्ता को अपने संस्थान के प्रत्येक कार्य की थोड़ी या अधिक जानकारी अनिवार्य रूप से होनी चाहिए ! इसके अभाव में उसको सहायकों द्वारा मुर्ख बनाये जाने की संभावनाएं बढ़ जाती हैं !

    (15)संपर्कों से सुद्रढ़ता ---नेतृत्व कर्ता का व्यावसायिक और गैर व्यावसायिक क्षेत्रों से भी संपर्क होना चाहिए और उनकी जरुरत के समय यथा संभव सहयोग भी करना चाहिए ! इससे उसे भी अन्य लोगों का सहयोग मिलेगा !

    (16)अनोपचारिक सम्बन्ध ---नेतृत्व कर्ता को अपने सम्बन्ध को प्रगाढ़ करने के लिए अपने साथियों की खुशियों में उत्सव मनाने और विपत्ति के समय सहानुभूति व्यक्त करने से संबंधों में प्रगाढ़ता बढती है ।
    अतः हम कह सकते हैं कि उपरोक्त गुणों का होना भी जरूरी है।

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  155. एक सफल नेतृत्व करता के महत्वपूर्ण गुण -
    1-श्रम शीलता
    2-उत्तरदाई होना
    3-अनुशासन प्रिय होना
    4-वस्तुनिष्ठ व्यवहार
    5-साहसी
    6-स्व - नियंत्रण
    7-सही निर्णय की क्षमता
    7-स्पष्ट योजना
    8-सहानुभूति पूर्ण सोच
    9-शालीन व्यवहार
    अहम से दूरी
    10-संस्थान के लिए समर्पण की भावना
    11-जानकारी की पूर्णता
    12-संपर्कों में सुदृढ़ता

    इसके साथ ही साथ एक सफल नेतृत्व कर्ता में अनौपचारिक संबंध -

    नेतृत्व कुशलता एक ऐसी कला है, जिसके माध्यम से बहुत आसानी से बड़े से बड़े असंभव कार्य को भी सरलता के साथ किया जा सकता है।
    बिना मार्गदर्शन के आगे बढ़ने में भटकाव ही होता है और किसी भी तरह की सफलता प्राप्त नहीं की जा सकती है।

    बिना नेतृत्व के इकट्ठा हुई भीड़ से कुछ खास कार्य नहीं कराया जा सकता है। वही सही नेतृत्व करता से नेता की एक छोटी सी टुकड़ी के द्वारा भी युद्ध को जीता जा सकता है। अतः कुशल नेतृत्वकर्ता ही सर्वोपरि गुणों से परिलक्षित होता है।

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  156. प्रभावशाली नेतृत्व करता में निम्नलिखित गुणों का होना आवश्यक है अनुशासन प्रिय मृदुभाषी एवं कुशल वक्ता कुशल कार्य नियोजक स्व नियंत्रण संस्थागत समर्पण भाव समय का पाबंद होना निष्पक्षता सहज प्रवृत्ति एवं एवं भावना रहित नवाचारी संगठनात्मक पहल आईसीटी दक्षता आदि

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  157. एक प्रभावशाली नेतृत्व करता धैर्यवान ,चरित्रवान, ज्ञानवान, सहनशील व आत्म- विश्वासी होना चाहिए| एक नेतृत्वकर्ता में या गुण प्रमुख रूप से होना चाहिए कि वह अपने बाकी साथियों के साथ किस तरह तालमेल बैठाकर काम को निकलवाना जानता है स्वयं काम तो हर कोई कर लेता है लेकिन बाकी साथियों के साथ तालमेल बैठाकर काम को पूरा करना अपने आप में एक महत्वपूर्ण बात होती है सफल नेतृत्व करता यह सोचता है कि मैं अपने सभी साथियों में जो क्षमता है उसका किस प्रकार उपयोग कर सकता हूं तथा उन में क्या-क्या अच्छाइयां हैं जिनको मैं ग्रहण कर अपने कार्य को सफल बना सकता हूं| एक सफल नेतृत्व करता हमेशा अपने साथियों और बच्चों की पॉजिटिव बात को ही ग्रहण करता है और उनकी नकारात्मक बात को किस प्रकार से सकारात्मक रूप में परिवर्तित किया जा सकता है इसके बारे में विचार कर उसको सकारात्मक रूप में परिवर्तित करने का भरपूर प्रयास करता है वह अपने साथियों से कभी यह उजागर होने नहीं देता है कि मैं तुम्हारा अधिकारी हूं या मैं तुम्हारा बॉस हूं एक सफल नेतृत्व का तो आत्मविश्वास ही होना चाहिए वह स्वयं की क्षमताओं पर विश्वास रखने वाला होना चाहिए कि मैं अपने साथियों की मदद कर सकता हूं तथा उनके साथ मिलकर काम कर सकता हूं एक सफल नेतृत्व करता कभी भी निराश नहीं होता है और हमेशा प्रयत्न करता रहता है कि मैं किस प्रकार अपने बच्चों को, अपने साथियों को तरक्की के पथ पर अग्रसर करूं मैं रघुवीर गुप्ता शासकीय प्राथमिक विद्यालय नया गांव संकुल केंद्र -शासकीय उच्च माध्यमिक विद्यालय सहस राम ,विकासखंड- विजयपुर जिला- sheopurमध्य प्रदेश

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  158. नेतृत्व कर्ता ईमानदारी से समय के अनुसार काम करने वाला कुशल था से ईमानदारी के साथ व्यवहार करने वाला होना चाहिए

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  159. कुशल नेतृत्व. कर्ता में सहनशीलता कार्य कीसमझ त्वरित निर्णय क्षमताके साथ संगठन क्षमता भी होना चाहिए|

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  160. प्रभावशाली नेतृत्वकर्ता बनने के लिए इन गुणों के अलावा निम्न गुण होने आवश्यक है--
    1.सहानुभूति पूर्ण व शालीन व्यवहार
    2.समय का पाबन्द होना
    3.ICT तकनीकों में दक्ष होने हेतु स्वयं व साथियों को प्रोत्साहित करना
    4.दूरदृष्टि के तहत कार्य करना5
    5. निष्पक्षता
    6.प्रेरक

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  161. एक प्रभावशाली नेतृत्व को सर्वगुण सम्पन्न अर्थात प्रशासन क्षमता,अकादमिक क्षमता में दक्ष होने के साथ ही व्यवहारकुशल,समदर्शी,सहृदयता,कर्तव्यनिष्ठता,पारदर्शिता,त्वरित निर्णय ग्रहिता, नवाचारी,निष्पक्षता,विद्यालय,छात्र, समुदाय हित मे आवश्यकताओं के निर्धारण करने की क्षमता,उचित वित्तीय प्रबंधन,आपदाकालीन परिस्थिति में सुचारू शिक्षण व्यवस्था हेतु आई सी टी उपयोग की योग्यता,समन्वय स्थापित करने में माहिर आदि विशेषताओं से परिपूर्ण होना चाहिए।
    दशरथसिंह गोयल
    सहायक शिक्षक
    शा.मा. वि. दताना(उज्जैन ग्रामीण),म.प्र.

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  162. कुशल नेतृत्व कर्ता अपनी समझ बूझ तथा स्वप्रेरणा से प्रेरित होकर परिस्थिति अनुसार निर्णय लेता है तथा कार्य संपादित करता है और अपने अधीनस्थ शिक्षकों के बीच समन्वय स्थापित करके उनसे अधिक से अधिक सहयोग लेकर कार्य करवा लेता है तथा बच्चों को अधिक से अधिक उपलब्धियां हासिल करवाता है तथा सभी के बीच एक योग्य व्यक्ति के रूप में तथा कुशल नेतृत्व कर्ता के रूप में प्रसिद्धि पाता है ।

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  163. प्रभावशाली नेतृत्वकर्ता एक कलात्मक क्रियाकलापों से दूसरों को प्रेरणा और मार्गदर्शन करता रहता है।
    हमारे विचार से प्रभावशाली नेतृत्व कर्ता में निम्न गुण होना परमावश्यक है-
    (1) समय का पाबंद होना।
    (2) अनुशासन प्रिय होना।
    (3) साहसी होना।
    (4) मृदुभाषी एवं कुशल वक्ता।
    (5) निष्पक्ष व्यवहार।
    (6) कुशल कार्य नियोजक।
    (7) त्वरित और विवेकपूर्ण निर्णय लेने की क्षमता।
    (8) स्व-नियंत्रण।
    (9) संस्थागत समर्पण भाव।
    (10) सहज प्रवृत्ति एवं अहम की भावना से दूर।
    (11) जानकार नवाचारी।
    (12) वैकल्पिक विचारधारा।
    (13) वैज्ञानिक सोच।
    (14) संगठनात्मक पहल।
    (15) सर्वधर्म समभाव।
    (16) सहानुभूति पूर्ण व्यवहार।
    प्रभावशाली नेतृत्वकर्ता के समस्त गुणों से परिपूर्ण व्यक्तित्व का सबसे अच्छा उदाहरण भारतीय तीनों सेनाओं के जल,थल और वायु सेनाध्यक्ष हैं जिनके एक इशारे पर छोटा सा प्लाटून भी पल भर में किसी भी स्थान की भौगोलिक स्थिति बदल सकता है। प्रभावी नेतृत्व के द्वारा बड़े-बड़े असंभव कार्यों को भी हम आसानी से पूरा करने में सफल हो सकते है चाहे समुद्र पर पुल बाँधना हो या मंगल ग्रह पर अंतरिक्ष यान पहुँचाना हो।

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  164. , समयबद्धता, अनुशासन प्रिय , संवेदनशीलता ,स्पष्टवादी , सहनशीलता , परिश्रमी, व्यवहारकुशल , आत्मविश्वास एवं प्रसन्नचित्त होना चाहिए।

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  165. Sabke sath lekr chalna or school ke vikas ke liye ak team ki trh kam krna pdta he .netratv me sahansilta dherya or vision ho

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  166. कुशल नेतृत्व. कर्ता में सहनशीलता, कार्य की समझ, त्वरित निर्णय क्षमता के साथ संगठन क्षमता भी होना चाहिए ।
    कुशल नेतृत्व कर्ता अपनी समझ बूझ तथा स्वप्रेरणा से प्रेरित होकर परिस्थिति अनुसार निर्णय लेता है तथा कार्य संपादित करता है और अपने अधीनस्थ शिक्षकों के बीच समन्वय स्थापित करके उनसे अधिक से अधिक सहयोग लेकर कार्य करवा लेता है ।

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    Unknown

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  167. नेत्वकर्ता के रूप में प्रथम अपने दायित्वों के प्रति संवेदनशीलता के पहल के लिये सकारात्मक सोच तथा छात्र॥ छात्राओं के समझ के अनुरुप नवाचार का प्रयोग कर पाना तथा वह नेत्वकर्ता के रूप में उसमें शहनशीलता साहसी प्रयत्नशीलता निरंतर अभ्यास जैसे गुण होना चाहिते।

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    1. सोमवती लाल पटेल प्राथमिक शाला भरतपुर डायसकोड 23150910004 जिला उमरिया म, प्र,नेत्तत्वकर्ता के रूप में प्रथम अपने प्रदत्य दायित्वेंके प्रति संवेदनशीलता के साथ पहल के लिये सकारात्मक सोच तथा छात्र, छात्राओं के समझ के अनुरुप नवाचार का प्रयोग कर पाना तथा वह नेत्रत्वकर्ता के रुप में उसमें शहनशीलता, साहसी ,प्रयत्नशीलता, निरंतर अभ्यास जैसे गुण होना नितांत आवश्यक हैं।

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  168. दिनेश तमखाने जिला हरदा
    शाला मे एक प्रभावशाली नेतृत्वकर्ता मे निम्न गुणों का होना आवश्यक है
    स्पस्ट वक्ता, मिलनसार, समय का पाबन्दी, अनुशासित, जिम्मेदारी निभाना, श्रम शील, साहसी, व्यवहार कुशल आदि गुणों का होना आवश्यक है

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  169. प्रभावशाली नेतृत्व कर्ता बनने के लिए ईमानदार होना बहुत जरूरी है। ईमानदार होगा तो उससे सभी लोग जुड़ पाएंगे। और उसके नेतृत्व को समझेंगे और उसके लिए वह अपना सब कुछ न्योछावर कर सकते हैं।

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  170. nidarta ke sath kary ke prati sajag..imandari ke sath karay karana...lagansil...hasmukh....ssakaratmak...wastvikata..ke .....

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  171. उपरोक्त गुणों के अलावा निम्न गुणों का समावेश होना चाहिए।
    1 समर्पण भाव
    2 सकारात्मक सोच
    3 जानकारी की पूर्णता
    4 समय और नियमों का कठोरता से अनुपालन
    5 संगठन की सोच।
    आदि

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  172. नेतृत्व करना एक ख़ास कला है ,जो सामान्य व्यक्तित्व के अन्दर नहीं होती ! श्रेष्ठतम लीडर वही बन पाता है ,जो लोगों के दिलों पर राज करता है ! और जिसकी personality को हर कोई स्वीकारता है ! ऐसे व्यक्ति के साथ काम करने वाले लोग अपना सब कुछ उस पर निछावर करने के लिए तत्पर होते हैं !
    प्रभावशाली नेतृत्वकर्ता के प्रमुख 16 गुण-

    अनुशासन प्रिय होना ---- एक नेतृत्व कर्ता को स्वयं अनुशासित जीवन जीना चाहिए ! और समय पर हर काम को पूरा करना चाहिए ! ऐसा होने पर ही उसके Subordinate और colleague अनुशासित रहेंगे और अपने निर्धारित कार्यों को समय पर पूरा करने का प्रयास करेंगे !


    श्रमशीलता --- जो व्यक्ति श्रम को ही पूजा मानते हैं तथा अपेक्षा से अधिक काम करने की चाहत व क्षमता रखते हैं ,वे ही अपने सहकर्मियों को और अधिक अच्छा करने की प्रेरणा दे सकते हैं !

    उत्तरदायी होना ---व्यक्ति को अपने कार्यों के प्रति जिम्मेदार या उत्तरदायी होने के साथ -साथ अपने अंतर्गत काम करने वालों की गलतियों व असफलताओं के दायित्व को स्वीकार करने का साहस भी होना चाहिए ! ऐसा किये बिना उनके विश्वास को नहीं जीता जा सकता !

    वस्तुनिष्ठ व्यवहार ---सफल नेतृत्व कर्ता के व्यवहार में निष्पक्षता एवं सोच में वस्तुनिष्ठता का गुण होना चाहिए ! इसके लिए Personal relationships को professional relationships से बिलकुल अलग रखा जाना चाहिए !

    साहस ---नेतृत्वकर्ता को साहस का परिचय देते हुए चुनौतियों को स्वीकार करना चाहिए और अपना पुरुषार्थ करना चाहिए ! जो व्यक्ति आत्मविश्वास से भरपूर और निर्भय नहीं होते हैं ,उनके नेतृत्व को बार-बार चुनोतियाँ मिलती रहती हैं और ऐसे व्यक्ति के नेतृत्व को उसके सहकर्मी लम्बे समय तक स्वीकार नहीं कर पाते !


    स्वनियंत्रण ---नेतृत्व कर्ता को अपनी वाणी एवं व्यवहार ,अपने नियंत्रण में रखना आना चाहिए ! क्योंकि नेतृत्व कर्ता के मर्यादाहीन व्यवहार से उसके नियंत्रण में काम करने वाले लोग भी मनमानी करने लगते हैं !

    सही निर्णय लेने की क्षमता ---जो व्यक्ति अपने निर्णयों को बार-बार बदलता है , उसकी निष्पक्षता और बुद्धिमत्ता संदिग्ध रहती है ! इसीलिए नेतृत्व कर्ता को ठीक से सोच विचार कर दूरदर्शिता के साथ सही निर्णय लेना आना चाहिए !

    स्पष्ट योजना ---एक सफल नेतृत्व कर्ता केवल अनुमान के आधार पर कोई कार्य नहीं कर सकता ! उसे कार्य की योजना बनाना और योजनानुसार कार्य करना आना चाहिए !

    सहानुभूतिपूर्ण सोच ---एक नेतृत्व कर्ता को सकारात्मक और सहानुभूतिपूर्ण सोच वाला होना चाहिए ! साथ वालों का बुरा न हो और यथा संभव भला हो ,ऐसे व्यवहार से ही दूसरों का दिल जीता जा सकता है !

    शालीन व्यवहार ---कहते हैं ,व्यक्ति वाणी से ही दोस्त और दुश्मन बनाता है ! वाणी में मिठास और व्यवहार में शालीनता व्यक्ति को समूह में स्वीकृति दिलवाती हैं ,जो नेतृत्व की सफलता में महत्वपूर्ण भूमिका निभाती हैं !

    सहकारिता की प्रवृति ---नेतृत्व कर्ता अपने हर काम को सहकार अर्थात एक सबके लिए ,सब एक के लिए की भावना से करता है ! वो अपने समूह की सफलता में ही अपनी सफलता देखता है !


    अहम् से दूरी ---नेतृत्व कर्ता में अपनी कमजोरियों या गुणों के सम्बन्ध में किसी प्रकार की ग्रंथि नहीं होनी चाहिए ! उसे अपने अहम् को दूर रख यथार्थ को स्वीकार करने का साहस दिखाना चाहिए !

    संस्थान के लिए समर्पण भावना ---जो अधिकारी अपने संस्थान के हितों के प्रति समर्पित नहीं होता , उसे अपने अधीनस्थों से भी ऐसी आशा नहीं रखनी चाहिए !

    जानकारी की पूर्णता ---नेतृत्व कर्ता को अपने संस्थान के प्रत्येक कार्य की थोड़ी या अधिक जानकारी अनिवार्य रूप से होनी चाहिए ! इसके अभाव में उसको सहायकों द्वारा मुर्ख बनाये जाने की संभावनाएं बढ़ जाती हैं !

    संपर्कों से सुद्रढ़ता ---नेतृत्व कर्ता का व्यावसायिक और गैर व्यावसायिक क्षेत्रों से भी संपर्क होना चाहिए और उनकी जरुरत के समय यथा संभव सहयोग भी करना चाहिए ! इससे उसे भी अन्य लोगों का सहयोग मिलेगा !

    अनोपचारिक सम्बन्ध ---नेतृत्व कर्ता को अपने सम्बन्ध को प्रगाढ़ करने के लिए अपने साथियों की खुशियों में उत्सव मनाने और विपत्ति के समय सहानुभूति व्यक्त करने से संबंधों में प्रगाढ़ता बढती है।

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  173. एक अच्छे नेतृत्व करता बनने के लिए सकारात्मक दृष्टिकोण, स्व प्रेरित होना, परिवर्तन,लाने के लिए प्रेरित होना, किसी कार्य की पहल करना।
    इन सबके अलावा उसका नवाचारी होना, सभी से मित्रवत व्यवहार होना, अपने विषय का पूर्ण ज्ञान होना, निर्भीक होना, परिश्रमी होना, मिलनसार होना, कार्य कौशल होना, स्पष्ट वादी होना, प्रभावी होना, कर्तव्य के प्रति समर्पित होना, अनुशासन प्रिय होना, निर्णय लेने की क्षमता हो ना, स्पष्ट कार्य योजना हो, सभी के प्रति सहानुभूति पूर्ण व्यवहार हो, शालीन हो, संपर्कों की सुदृढ़ता हो, नियमितता, समयब्धता कार्यकुशलता, सृजनात्मकता, नवाचारी हो, सर्वधर्म समभाव, और वैज्ञानिक सोच हो।

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  174. सकारात्मकता से ही सर्वांगीण विकास होगा

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  175. प्रभावशाली नेतृत्वकर्ता एक कलात्मक व्यक्तित्व है। जो सदैव ही अपने छोटे-बड़े कार्यो/ क्रियाकलापों से दूसरों को प्रेरक और मार्गदर्शक का कार्य करता है।
    हमारे विचार से प्रभावशाली नेतृत्व करता में निम्नलिखित गुणों का होना आवश्यक है-
    (1) समय का पाबंद होना।
    (2) अनुशासन प्रिय होना।
    (3) साहसी होना।
    (4) मृदुभाषी एवं कुशल वक्ता।
    (5) निष्पक्ष व्यवहार।
    (6) कुशल कार्य नियोजक।
    (7) त्वरित और विवेकपूर्ण निर्णय लेने की क्षमता।
    (8) स्व नियंत्रण।
    (9) संस्थागत समर्पण भाव।
    (10) सहज प्रवृत्ति, अहम की भावना से दूर।
    (11) जानकार नवाचारी।
    (12) वैकल्पिक विचारधारा।
    (13) वैज्ञानिक सोच।
    (14) संगठनात्मक पहल।
    (15) सर्वधर्म समभाव।
    (16) सहानुभूति पूर्ण व्यवहार।
    प्रभावशाली नेतृत्वकर्ता के समस्त गुणों से परिपूर्ण व्यक्तित्व का सबसे अच्छा उदाहरण भारतीय तीनों सेनाओं जल,थल और नभसेनाध्यक्ष हैं, जिनके एक इशारे पर छोटा सा प्लाटून भी पल भर में किसी भी स्थान की भौगोलिक स्थिति बदल सकता है। जो राष्ट्रभक्ति के लिए अपने प्राणों का बलिदान देने हमेशा ततपर हो।प्रभावी नेतृत्व के द्वारा बड़े-बड़े असंभव कार्यों को भी हम आसानी से पूरा करने में सफल हो सकते है,चाहे समुद्र पर पुल बाँधना हो या मंगल ग्रह पर अंतरिक्ष यान पहुँचाना हो।
    विनोद सिंह राजपूत
    माध्यमिक शिक्षक

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  176. प्रभावशाली नेतृत्व के गुण निम्न हैं
    अनुशासन प्रियता,समय की पाबंदी, सहयोग करना,श्रमशीलता, जिम्मेदारियों को स्वीकारना,स्वयं पर नियंत्रण, चुनौतियों को स्वीकारने का साहस,मृदु भाषी,जिज्ञासु स्वभाव, समर्पण की भावना, निष्पक्षता, नवाचारी आदि।
    अमर सिंह सोलंकी शासकीय माध्यमिक विद्यालय द्वारका नगर फंदा पुराना शहर भोपाल मध्यप्रदेश 462010

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  177. उपरोक्त गुणों के अलावा निम्न गुणों का समावेश होना चाहिए।
    1 समर्पण भाव
    2 सकारात्मक सोच
    3 जानकारी की पूर्णता
    4 समय और नियमों का कठोरता से अनुपालन
    5 संगठन की सोच।
    आदि

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  178. प्रभावी नेतृत्व करता गुणों में शिक्षकों एवं अभिभावकों में सबसे पहले चरित्रवान सत्यवादी ता ईमानदारी निष्ठा व अपने कर्तव्य के प्रति लगन होना चाहिए तभी बच्चों में हम इन सभी गुणों का विकास कर पाएंगे और इससे निश्चित रूप से एक भविष्य के लिए बच्चों के मार्ग प्रशस्त करने के लिए यह मजबूत रास्ता है विनय कुमार द्विवेदी प्राथमिक शिक्षक अमरपाटन जिला सतना मध्य प्रदेश

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  179. मैं भानुप्रकाश ओझा हरिपुर का विचार है कि सफल नेतृत्व कर्ता वही है जो दूसरों के लिए रोल मॉडल / आदर्श हो
    दूसरो से अपेक्षा करने से पहले स्वतः उस कार्य में परफेक्ट / निपुण होना भी सफल नेतृत्व कर्ता की पहचान है
    भेदभाव रहित एक समान व्यवहार भी प्रभावशाली नेतृत्वकर्ता का एक गुण है

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    AMITA DEVIDecember 15, 2020 at 8:22 PM

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  180. अपने कार्य के प्रति समर्पण,कर्तव्यनिष्ठ,भेदभाव रहित होना दूसरों के कार्य की सराहना करना

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  181. कुशल नेतृत्व कर्ता में पहलकरना, सकारात्मक सोच, स्वप्रेरित होना, परिवर्तन लाने के लिए सतत् प्रयत्नशील रहना,स्पष्ट योजना, सहानुभूति पूर्ण सोच,शालीन व्यवहार, सहकारिता की प्रवृत्ति,अहम से दूरी, संस्थान के लिए समर्पण की भावना का होना जरूरी है।

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  182. prabhavshali netrutva Karta ke gun
    1. उसका दृष्टिकोण सकारात्मक होना चाहिए
    2. सभी को साथ लेकर चलने वाला होना चाहिए
    3. नवाचारी होना चाहिए ताकि वह अपने विद्यालय में समय-समय पर नए नए प्रयोग कर सके नई नई गतिविधियां ला सकें
    4. ईमानदार होना चाहिए
    5. निष्पक्ष होना चाहिए
    6. उसे सभी विषयों का ज्ञान होना चाहिए
    7. परिवर्तनशील होना चाहिए
    8. नेतृत्व की क्षमता होनी चाहिए
    9. अहम नहीं होना चाहिए

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    1. उसको सभ कुछ आना चाहिए

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  183. prabhavshali netrutva Karta ke gun
    1. उसका दृष्टिकोण सकारात्मक होना चाहिए
    2. सभी को साथ लेकर चलने वाला होना चाहिए
    3. नवाचारी होना चाहिए ताकि वह अपने विद्यालय में समय-समय पर नए नए प्रयोग कर सके नई नई गतिविधियां ला सकें
    4. ईमानदार होना चाहिए
    5. निष्पक्ष होना चाहिए
    6. उसे सभी विषयों का ज्ञान होना चाहिए
    7. परिवर्तनशील होना चाहिए
    8. नेतृत्व की क्षमता होनी चाहिए
    9. अहम नहीं होना चाहिए

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  184. प्रभावशाली नेतृत्व कर्ता बनने के लिए ईमानदार होना बहुत जरूरी है। ईमानदार होगा तो उससे सभी लोग जुड़ पाएंगे। और उसके नेतृत्व को समझेंगे और उसके लिए वह अपना सब कुछ न्योछावर कर सकते हैं।

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  185. साकारात्मक दरिष्टकोण का होना आवश्यक है।

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  186. कुशल नेतृत्व कर्ता में पहलकरना, सकारात्मक सोच, स्वप्रेरित होना, परिवर्तन लाने के लिए सतत् प्रयत्नशील रहना,स्पष्ट योजना, सहानुभूति पूर्ण सोच,शालीन व्यवहार, सहकारिता की प्रवृत्ति,अहम से दूरी, संस्थान के लिए समर्पण की भावना का होना जरूरी है।

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  187. Mere anusaar ye sabhi gud hone chahiye prabhaavshaali natratvakarta banne k liye

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  188. सकारात्मक दृष्टिकोण का होना एक कुशल नेतृव कर्ता की पहचान है।

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  189. सकारात्मक दृष्टिकोण का होना एक कुशल नेतृव कर्ता की पहचान है।

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  190. प्रभावशाली नेतृत्वकर्ता में में आत्मविश्वास , सकारात्मक सोच, ईमानदारी जनसंपर्क मिलनसार व्यक्तित्व , नवाचार की क्षमता सरल स्वभाव एवं एक जुटता की भावना होनी चाहिए।

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  191. प्रभावशाली नेतृत्वकर्ता में में आत्मविश्वास , सकारात्मक सोच, ईमानदारी जनसंपर्क मिलनसार व्यक्तित्व , नवाचार की क्षमता सरल स्वभाव एवं एक जुटता की भावना होनी चाहिए।

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  192. प्रभावशाली नेतृत्वकर्ता में में आत्मविश्वास , सकारात्मक सोच, ईमानदारी जनसंपर्क मिलनसार व्यक्तित्व , नवाचार की क्षमता सरल स्वभाव एवं एक जुटता की भावना होनी चाहिए।

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  193. एक सफल नेतृत्व करता में निम्नलिखित महत्वपूर्ण गुण होने चाहिए -
    1-श्रम शीलता
    2-उत्तरदाई होना
    3-स्व - नियंत्रण
    4-साहसी
    5-वस्तुनिष्ठ व्यवहार
    6-सही निर्णय की क्षमता
    7-अपने विषय में निपुण होना चाहिए
    8-जानकारी की पूर्णता
    9-स्पष्ट योजना
    10-संपर्कों में सुदृढ़ता
    11-शालीन व्यवहार
    12.जिज्ञासु

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